सोशल मीडिया पर इन दिनों फेक मैसेज की बाढ़ सी आई हुई है लोग कुछ भी किसी के नाम से शेयर कर देते हैं। ऐसे में फेक मैसेज के वायरल होने के चलते कुछ लोगों को इसका खामियाजा भी भुगतना पड़ता है। इसी क्रम में फेक मैसेज के नए शिकार हुए हैं बॉलीवुड एक्टर अरशद वारसी (arshad warsi)। अभी कुछ समय पहले अरशद वारसी ने टाटा समूह के पूर्व चेयरमैन रतन टाटा (Ratan Tata) के नाम से वायरल हो रहे मैसेज को रिट्टीट करते हुए ट्वीट किया था।
अरशद वारसी ने बिना मैसेज की पड़ताल किए उसे शेयर किया और रतन टाटा के प्रति आभार प्रकट करते हुए लिखा, ‘सभी निराशाजनक समाचारों के बाद, कुछ बिल्कुल सच और मोटिवेट करने वाली खबर। मिस्टर रतन टाटा के लिए मेरे दिल में सम्मान को मैं शब्दों मे बयां नही कर सकता।’ अरशद वारसी के इस ट्वीट पर यूजर जमकर कमेंट कर रहे हैं और उन्हें कुछ भी शेयर करने से पहले सत्यता की जांच करने की सलाह दे रहे हैं।
सोशल मीडिया पर खुद से जुड़ा पोस्ट वायरल होने के बाद अब रतन टाटा ने इसपर प्रतिक्रिया दी है। रतन टाटा ने ट्टीट कर लिखा, ‘ये बातें न तो मैंने कही हैं और न ही लिखी हैं। मैं आपसे आग्रह करता हूं कि वॉट्सऐप और अन्य मीडिया प्लेटफॉर्म पर सर्कुलेट हो रहे इस पोस्ट की सत्यता का पता लगाएं। अगर मुझे कुछ कहना होता है तो मैं अपने ऑफिशल चैनल के जरिए कहता। आशा करता हूं कि आपलोग सुरक्षित होंगे और अपना खयाल रख रहे होंगे।’
This post has neither been said, nor written by me. I urge you to verify media circulated on WhatsApp and social platforms. If I have something to say, I will say it on my official channels. Hope you are safe and do take care. pic.twitter.com/RNVL40aRTB
— Ratan N. Tata (@RNTata2000) April 11, 2020
बता दें कि ‘वेरी मोटिवेशनल ऐट दिस आवर’ नाम के शीर्षक से जो पोस्ट सर्कुलेट हो रहा है उसमें रतन टाटा के नाम से कहा गया है, ‘एक्सपर्ट्स की ये सोच है कि कोरोनावायरस की वजह से अर्थव्यस्था तहस-नहस हो जाएगी। मैं इन एक्सपर्ट्स के बारे में ज्यादा कुछ नहीं जानता हूं। लेकिन मैं यह बात अवश्य जानता हूं कि इन एक्सपर्ट्स को ज्यादा कुछ नहीं पता। अगर एक्सपर्ट्स पर विश्वास करते तो द्वितीय विश्व युद्ध में पूरी तरह बर्बाद हो चुके जापान का कोई भविष्य नहीं होता।
अगर विशेषज्ञों पर विश्वास करते तो अरब देशों ने इजरायल का दुनिया के नक्शे से नाम मिटा दिया होता, अगर विशेषज्ञों की बात मानते तो 1983 में भारत विश्व कप नहीं जीतता।’ पोस्ट में अन्य कई उदाहरणो के बाद लिखा था कि इन सभी की तरह मुझे कोई शक नहीं कि हम कोरोना वायरस को हरा देंगे और भारतीय अर्थव्यवस्था भी मजबूती से वापसी करेगी।