Loksabha Elections 2019: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को चुनावी माहौल के बीच शुक्रवार (तीन मई, 2019) तक आदर्श आचार संहिता के पांच मामलों में चुनाव आयोग (ईसी) से क्लीन चिट मिल गई। ईसी ने उनके अलावा भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) अध्यक्ष अमित शाह को भी चुनावी आचार संहिता उल्लंघन के एक मामले में आरोपों से बरी कर दिया। वहीं, वहीं, ईसी ने कांग्रेस अध्यक्ष को विवादित बयान देने के मसले पर जवाब देने के लिए मोहलत बढ़ा दी है। अब राहुल को सात मई तक अपना जवाब देना होगा।

शुक्रवार देर शाम ईसी ने पीएम द्वारा छह अप्रैल को महाराष्ट्र के नांदेड़ में दिए एक बयान पर कहा, “आयोग का मानना है कि इस मामले में किसी प्रकार का उल्लंघन नहीं हुआ है।” वहीं, यूपी के वाराणसी में 25 अप्रैल को एक भाषण के लिए और 26 अप्रैल को आज तक चैनल को दिए खास इंटरव्यू को लेकर पीएम को आयोग से राहत मिल गई। कांग्रेसी प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने इस बाबत पीएम के खिलाफ ईसी को शिकायतें दी थीं, जिस पर ईसी ने कहा- इन मामलों में भी चुनावी आचार संहिता का उल्लंघन नहीं हुआ है।

इससे पहले, पीएम मोदी को गुरुवार (दो मई, 2019) शाम एक और मामले में ईसी से क्लीन चिट मिली थी। वहीं, उससे पहले ईसी से वह चुनावी आचार संहिता उल्लंघन के दो अन्य मामलों में राहत पा चुके थे।

बात करें बीजेपी चीफ शाह की तो 22 अप्रैल को पश्चिम बंगाल के नदिया जिले में एक चुनावी रैली के दौरान उनके एक बयान पर सुरजेवाला ने ईसी को शिकायत दी थी। पर ईसी ने उस पर कहा है कि न तो किसी प्रकार की आचार संहिता का उल्लंघन हुआ है और न ही ईसी के आदेशों को किसी तरह नजरअंदाज किया गया है।

उधर, मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस के मुखिया राहुल गांधी को ईसी के पास जवाब देने के लिए और समय दे दिया गया है। दरअसल, राहुल द्वारा 23 अप्रैल को म.प्र के शहडोल में दिए गए एक बयान पर एक मई को उन्हें 48 घंटों के भीतर जवाब देने के लिए नोटिस जारी किया गया था। जवाब में उस पर राहुल की ओर से अधिक समय मांगा गया था। ईसी ने उनकी उसी दरख्वास्त को स्वीकार लिया है। अब उन्हें सात मई तक अपना जवाब दाखिल करना होगा।

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