विजय रुपानी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के गृह राज्य गुजरात के मुख्यमंत्री के रूप में रविवार को शपथ लेंगे। गुजरात में अगले साल विधानसभा चुनाव होने हैं और भाजपा पटेल आंदोलन व दलितों पर हमलों को लेकर बेचैनी का सामना कर रही है। उधर रुपानी ने प्रदेश भाजपा अध्यक्ष के पद से इस्तीफा दे दिया है। 60 वर्षीय रुपानी ने शनिवार को राज्यपाल ओपी कोहली से मिल कर सरकार बनाने का दावा पेश किया। आनंदीबेन पटेल के उत्तराधिकारी के रूप में रुपानी को शुक्रवार को भाजपा विधायक दल का नेता चुना गया था। केंद्रीय नेतृत्व ने उनके चुनाव में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। राज्यपाल से मिलने के बाद भाजपा के प्रदेश प्रभारी दिनेश शर्मा ने कहा कि रुपानी रविवार दोपहर 12:40 बजे शपथ-ग्रहण करेंगे। रुपानी के साथ भावी उपमुख्यमंत्री नितिन पटेल सहित राज्य के कई अन्य नेताओं ने राज्यपाल से मुलाकात की। हालांकि निवर्तमान मुख्यमंत्री आनंदीबेन पटेल इस मुलाकात के दौरान मौजूद नहीं थीं।

मुलाकात के बाद शर्मा ने कहा, ‘हमने राज्यपाल को बताया कि भाजपा विधायक दल ने नए मुख्यमंत्री के तौर पर विजय रुपानी और उपमुख्यमंत्री के तौर पर नितिन पटेल के नामों का समर्थन किया है।’ शर्मा ने कहा, ‘राज्यपाल ने शपथ ग्रहण के लिए अपनी मंजूरी दे दी है।’ बहरहाल, उन्होंने इस सवाल का सीधा जवाब नहीं दिया कि मुलाकात के दौरान आनंदीबेन क्यों गैर-मौजूद थीं। शर्मा ने सिर्फ इतना कहा, ‘जब उन्होंने इस्तीफा दिया, उस वक्त वह मौजूद थीं। आज वे मौजूद थे जिन्हें चुना गया है।’

भाजपा के केंद्रीय नेतृत्व ने शुक्रवार को नए मुख्यमंत्री के तौर पर अमित शाह के वफादार और पार्टी प्रदेश अध्यक्ष रुपानी के नाम पर मुहर लगाई, जबकि आखिरी वक्त तक यह कयास लगाए जा रहे थे कि नितिन पटेल ही राज्य की सत्ता की कमान संभालेंगे। आनंदीबेन ने नितिन पटेल को उत्तराधिकारी बनाने पर जोर दिया था जबकि शाह रुपानी के साथ थे। मोदी सहित केंद्रीय नेतृत्व के हस्तक्षेप के बाद समझौते के फार्मूले के तौर पर पटेल को उपमुख्यमंत्री बनाने का फैसला हुआ।

पटेल समुदाय ओबीसी आरक्षण की मांग को लेकर आंदोलन पर उतारू है जबकि राज्य में ऊना प्रकरण के बाद दलित समुदाय नाराज है। आरएसएस पृष्ठभूमि से आने वाले रुपानी को चुनावों में भाजपा का नेतृत्व करने का जिम्मा ऐसे समय में दिया गया है जब भाजपा अपने राजनीतिक आधार को कायम रखने के लिए संघर्षरत है। पार्टी राज्य में मोदी के कद के नेता की कमी महसूस कर रही है। आनंदीबेन ने बुधवार को राज्यपाल को अपना इस्तीफा सौंपा था। आनंदीबेन नवंबर में 75 वर्ष की हो रही हैं। उनके नेतृत्व में पिछले वर्ष भाजपा ने निकाय चुनाव में हार झेली थी और विपक्षी कांग्रेस को लाभ हुआ था।

इस बीच, रुपानी ने प्रदेश भाजपा अध्यक्ष के पद से इस्तीफा दे दिया। रुपानी ने कहा, ‘मैंने शनिवार को पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह को गुजरात भाजपा अध्यक्ष के पद से इस्तीफा दे दिया।’ रुपानी और पटेल गुजरात के पूर्व मुख्यमंत्री केशुभाई पटेल से आशीर्वाद लेने उनके घर गए। केशुभाई ने कहा, ‘वे आशीर्वाद लेने यहां आए थे। मैंने उन्हें उनकी नई जिम्मेदारियों के लिए शुभकामनाएं दीं।’