क्रिकेट टेस्ट मैचों के मुकाबलों में अब विराट कोहली नहीं होंगे। मगर अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट की दुनिया में अब तक उनकी जो जगह बन चुकी है, उसमें इस खेल के हर प्रारूप में उनकी छवि मौजूद होगी। सोमवार को विराट कोहली ने जब सोशल मीडिया पर टेस्ट क्रिकेट से संन्यास लेने की घोषणा की, तो भारत सहित दुनिया भर में इस खेल में उनके सफर को याद करते हुए उन्हें भावुक विदाई दी गई। गौरतलब है कि अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में टी-20 मैचों से वे पहले ही संन्यास ले चुके हैं और अब टैस्ट मैचों में भी नहीं दिखेंगे।

हालांकि एकदिवसीय मैचों में वे मौजूद रहेंगे। दरअसल, विराट कोहली के उभार के बाद से अब तक देश और दुनिया भर में लोगों ने जिस रूप में उन्हें देखा है, उसमें वे ज्यादातर लोगों के दिमाग में एक सदाबहार, सहृदय और बेहद सक्षम खिलाड़ी के रूप में स्थिर हो चुके हैं। विराट ने भारत को चालीस टैस्ट मैचों में जीत दिलाई, लगातार नौ टेस्ट शृंखला जीतने का कीर्तिमान कायम किया। उनके नाम टेस्ट क्रिकेट में छह दोहरे शतक, बीस शतक और नाबाद 254 रन का कीर्तिमान दर्ज है।

विराट कोहली के सफर में आए उतार-चढ़ाव उनके प्रदर्शन में कभी बाधक नहीं बने। कभी मैदान में उन्होंने अपनी चमक बिखेरी, तो उसकी चकाचौंध में डूबे नहीं, कभी मद्धिम पड़े तो उससे हारे नहीं। सन 2014 में इंग्लैंड में एक टेस्ट शृंखला के पांच मैचों में दस पारियों में विराट ने महज एक सौ पैंतीस रन बनाए, तब उनकी क्षमता पर सवाल उठाए जाने लगे थे।

हालांकि उससे पहले वे अलग-अलग देशों के कई तेज पिचों पर शतक जमा चुके थे और उन्हें तेजी से उभरता सितारा माना जाने लगा था। विराट ने अपने उस प्रदर्शन को सबक के तौर पर लिया, अपनी बल्लेबाजी की तकनीक और कौशल में सुधार लाने के लिए उन्होंने खुद को सख्त मेहनत और अभ्यास में झोंक दिया और फिर ऐसे खिलाड़ी के रूप में उभर कर सामने आए, जिसने अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट के सभी प्रारूपों में अपनी क्षमता साबित की और खेल के रुख को बदल देने वाले चेहरे के तौर पर मशहूर हुए। अब अंतरराष्ट्रीय स्तर पर टेस्ट क्रिकेट की दुनिया को वे शिद्दत से याद आएंगे।