राजस्थान की जयपुर पुलिस ने एक वाहन चोरी करने वाले गिरोह का भंडाफोड़ किया है। दिलचस्प बात यह है कि इस पूरे गिरोह का सरगना कोई कुख्यात बदमाश नहीं बल्कि राजस्थान पुलिस का ही एक निलंबित सिपाही है। इस सिपाही का नाम कपिल शर्मा है, जिसे अपने पिता की मौत के बाद अनुकंपा नियुक्ति मिली थी। साथ ही इस आरोपी सिपाही पर 2018 में रेप का मामला भी दर्ज हो चुका है।

जयपुर कमिश्नरेट की डीसीपी वेस्ट ऋचा तोमर ने बताया कि, करणी विहार थाने के क्षेत्र में हीरापुरा के निवासी दीपक शर्मा नाम के व्यक्ति ने शिकायत की थी कि उसकी कार घर के बाहर से चोरी हो गई है। शहर में वाहन चोरी की कई शिकायतों के बाद, विभाग ने वाहन चोरी करने वाले गिरोह के खुलासे के लिए एक टीम बनाई।

डीसीपी वेस्ट ऋचा तोमर ने कहा कि, बीते दिनों सूचना मिली कि चोरी की कार यूपी के नंबर के साथ दिल्ली हाइवे पर मानेसर से भिवाड़ी की ओर जा रही है। जब नाकाबंदी में कार पकड़ी गई तो पता चला कि कार फर्जी रजिस्ट्रेशन नंबर पर चल रही है। कार को चला रहे विकास (निलंबित सिपाही) व उसके साथी संजय चावड़ा ने बताया कि यह कार कपिल शर्मा की है।

एडिशनल डीसीपी रामसिंह शेखावत ने बताया कि कपिल शर्मा ने अपने स्वर्गीय एएसआई पिता महेंद्र कुमार की जगह अनुकंपा नियुक्ति पाई थी। कपिल साल 2015 बैच का सिपाही है। साल 2018 में ज्योति नगर थाने में कपिल के खिलाफ दुष्कर्म का मामला दर्ज हुआ था। फिर 22 मई 2019 को उसे गिरफ्तार कर लिया गया था। जब दुष्कर्म के केस में वह जेल में रहा और तभी उसने अन्य कैदियों के साथ मिलकर गैंग बनाई।

पुलिस के मुताबिक, गिरोह के बदमाश ऑनलाइन पुराने वाहन सस्ते दामों में खरीदते थे और उसी कंपनी की वैसी ही कार चोरी करते थे। कार की रेकी कपिल शर्मा खुद करता था फिर कार चोरी कर अन्य आरोपियों के साथ वर्कशॉप ले जाता था। इसके बाद वर्कशाप में पुरानी कार के चेसिस नंबर चोरी के कार में फिट कर बेच देते थे। साथ ही गाड़ी के कागज और उसकी चेसिस काटकर कबाड़ी को बेंच देते थे।

करणी विहार पुलिस ने कपिल शर्मा को पकड़कर पूछताछ की तो वाहन चोरी की बड़ी गैंग का खुलासा हुआ। फिर पुलिस ने गैंग के बाकी सदस्यों को भी अरेस्ट कर लिया। इन आरोपियों की पहचान राजेश कुमार मीणा, जगदीश शर्मा, दीनदयाल और जितेंद्र सिंह के रूप में हुई है। साथ ही गिरोह के पास से 9 गाड़ियां भी बरामद की गई हैं, जिनमें से 7 कार व 2 बाइक शामिल हैं।

पुलिस के अनुसार, इस पूरे गिरोह का मास्टरमाइंड कपिल शर्मा है और आरोपी जगदीश का गाड़ियों का वर्कशॉप है। गिरोह के सदस्य जगदीश की मदद से ही पूरे काम को अंजाम देते थे। इन आरोपियों के खिलाफ एक दर्जन से अधिक आपराधिक मामले दर्ज हैं।