UK Crime News: यूनाइटेड किंगडम में एक 20 वर्षीय भारतीय छात्र को पिछले साल एक महिला से बलात्कार के आरोप में गिरफ्तार किया गया और सजा सुनाई गई। बीबीसी की रिपोर्ट के मुताबिक प्रीत विकल ने पिछले साल जून में यूके के कार्डिफ़ में अपने फ्लैट में “नशे की हालत में” महिला को ले जाकर उसके साथ बलात्कार किया था। साउथ वेल्स पुलिस ने विकल को “नशे में” पीड़िता को अपनी बाहों में लेकर उसके कमरे तक ले जाते हुए समय के सीसीटीवी फुटेज को भी साझा किया।
साउथ वेल्स पुलिस ने एक प्रेस विज्ञप्ति जारी कर बताया पूरा हाल
जानकारी के मुताबिक विकल पीड़िता से तब मिला था जब वह अपने दोस्तों के साथ कार्डिफ सिटी सेंटर में थी। साउथ वेल्स पुलिस ने एक प्रेस विज्ञप्ति में कहा कि शुरुआत में पीड़िता को उसके दोस्तों के साथ देखा गया था, लेकिन वह अलग हो गई और बाद में विकल द्वारा किंग एडवर्ड सप्तम एवेन्यू और नॉर्थ रोड पर लगे सीसीटीवी में देखी गई।
सीसीटीवी फुटेज की जांच के बाद हुई प्रीत विकल की पहचान
बीबीसी ने साउथ वेल्स पुलिस के डिटेक्टिव कॉन्स्टेबल निक वुडलैंड के हवाले से कहा, “इस तरह के अजनबी हमले कार्डिफ़ में बेहद असामान्य हैं लेकिन प्रीत विकल में हमारे नजदीक मौजूद एक खतरनाक व्यक्ति था। उसने अपने दोस्तों से बिछड़ गई एक नशे में धुत और कमजोर युवती का फायदा उठाया। पुलिस ने कहा कि सीसीटीवी के “व्यापक” जांच के बाद विकल की पहचान की गई और उसे गिरफ्तार किया गया।
प्रीत विकल को छह साल और नौ महीने की सजा सुनाई गई
एक युवा अपराधी प्रीत विकल को छह साल और नौ महीने की सजा सुनाई गई है। इंजीनियरिंग का छात्र विकल ने महिला से बलात्कार करना स्वीकार किया है। अब वह जेल में अपनी दो तिहाई सजा काटेगा। अभियोजक मैथ्यू कोबे ने डेली मेल को बताया, “पीड़ित ने अत्यधिक शराब पी रखी थी और रात के अंत तक साफ तौर पर वह निराशाजनक रूप से नशे में थी।” डेली मेल की रिपोर्ट के अनुसार, उसे प्रीत विकल के बगल में जागने की याद आई। वह इस बात से अनजान थी कि वह कहाँ थी या किसके साथ थी। उसने विकल का इंस्टाग्राम पता मांगा और बाद में पुलिस को सूचना दी।
दिल्ली के पास एक गांव से है बलात्कार का दोषी प्रीत विकल
वहीं, प्रीत विकल के वकील लुईस स्वीट ने डेली मेल को बताया कि वह दिल्ली के पास के एक गांव से हैं। उन्होंने इंजीनियरिंग के लिए छात्रवृत्ति प्राप्त की थी। उन्होंने कहा, “वह विश्वविद्यालय जाने वाले अपने परिवार के पहले व्यक्ति थे, विदेश जाने और अध्ययन करने वाले अपने गांव के पहले व्यक्ति थे। वह यहां आने और पढ़ने के अपने और अपने माता-पिता के सपनों को पूरा कर रहे थे।”