आतंकवाद भारत ही नहीं अपितु विश्व की गंभीर समस्याओं में से एक है। भौगोलिक सीमाओं से परे आतंकवाद हर जगह अपनी जड़ें मजबूत कर चुका है। अमेरिका, इजराइल, अफगानिस्तान, पाकिस्तान, न्यूजीलैंड, श्रीलंका, बांग्लादेश, म्यांमार इत्यादि कई देश आतंकवाद की मार झेल रहे हैं। आतंकवाद दरअसल वैश्विक राजनीति में दबदबा बनाए रखने वाले कुछ देशों का एक तरह का अभियान ही है। इसी से उनके स्वार्थ और हित पूरे होते हैं। इसीलिए आतंकवादी संगठनों को कई देशों का समर्थन हासिल होता है। ऐसे देश मानव सभ्यता के लिए खतरा हैं।

भारत सरकार ने आतंकवाद के मुद्दे पर ‘जीरो टॉलरेंस’ की नीति अपनाने का दावा किया है। सरकार जिस प्रकार से संसद सत्र में आतंकवाद से जुड़े विधेयक पेश कर रही है, उससे साफ है कि सरकार आतंकवाद को लेकर गंभीर है। लोकसभा में राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआइए) एक्ट संशोधन, गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) संशोधन विधेयक 2019 तो पास हो गए हैं। ऐसा माना जा रहा है कि इन संशोधन से सरकार अपनी कथनी को करनी के रूप में पेश करना चाह रही है। आतंकवाद से लड़ना एक चुनौती है जिसे संपूर्ण विश्व को स्वीकार करना होगा, ताकि इस गंभीर समस्या से जल्द से जल्द निजात पाई जा सके।
’मुकुल सिंह चौहान, दिल्ली</strong>

इमरान से उम्मीद
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान के अमेरिका में दिए हालिया बयान को दो परिप्रेक्ष्यों में देखा जा सकता है। इमरान खान ने स्वीकार किया कि पाकिस्तान में चालीस हजार से ज्यादा आतकवादी हैं। इमरान खान ने यह बयान बहुत ही सोच-समझ कर दिया लगता है। पहला तो यह कि पाकिस्तान इस समय बेहद ही गंभीर आर्थिक संकट से जूझ रहा है। ऐसे आर्थिक संकट से उबरने के लिए उसे अमेरिका सहित अन्य देशों से आर्थिक सहयोग की बेहद आवश्यकता है और इसी आवश्यकता को पूरा करने के लिए इमरान खान ने अमेरिका में ऐसा बयान दिया है। यह कहीं न कहीं सत्य भी है।

इमरान खान के इस बयान के बाद यह उम्मीद की जा सकती है कि शायद पाकिस्तान अपने यहां चल रहे आतंकी संगठनों पर नकेल कसे जाएगी। प्रधानमंत्री बनने के बाद से ही इमरान खान विकास और शांति की बात करते आ रहे हैं। इसलिए उनके इस बयान के बाद उम्मीद और जगी है कि वे पाकिस्तान की सरजमीं से आतंकियों का सफाया कर एक नया पाकिस्तान बनाएंगे। मगर पाकिस्तान से यह उम्मीद कम ही की जानी चाहिए कि वह अपने इस रुख पर ज्यादा समय तक कायम रह पाएगा। अगर सचमुच पाकिस्तान अपनी सरजमीं से आतंकियों का सफाया करना चाहता है तो इस काम के लिए भारत उनकी तारीफ ही करेगा।
’विकास बिश्नोई, हिसार