Hyundai Kona Electric First Drive Review: Hyundai Kona आखिरकार भारतीय बाजार में लांच हो चुकी है इसी के साथ देश में एक नए इलेक्ट्रिक युग की शुरुआत भी हो चुकी है। भारत सरकार भी देश में इलेक्ट्रिक वाहनों के प्रयोग को बढ़ावा देने में लगी है। ग्लोबल मार्केट में ये एसयूवी पहले से ही मौजूद है लेकिन भारतीय बाजार में इसका पर्दापण अभी हुआ है।
बेहद ही आकर्षक लुक और पावरफुल इलेक्ट्रिक मोटर से सजी इस एसयूवी के रोड टेस्ट के दौरान कई ऐसी बातें सामने आई हैं जिनके आधार पर ये कहा जा सकता है कि, ये एसयूवी देश के इलेक्ट्रिक मोबिलिटी के क्षेत्र में एक नए अध्याय की शुरुआत करने जा रही है। तो आइये आपको अवगत कराते हैं इस एसयूवी के फर्स्ट ड्राइव रिव्यू से —

Hyundai Kona का डिजाइन: सबसे पहले हम बात करेंगे हुंडई कोना के डिजाइन की, देखने में ये किसी बड़ी हैचबैक या क्रॉसओवर की तरह लगती है। इसके फ्रंट ग्रिल को चॉर्जिंग पोर्ट से कवर किया गया है लेकिन इसे भी कंपनी ने एरोडायनमिक डिजाइन दिया है। इसके अलावा इसमें LED हेडलाईट, स्पोर्टी एलॉय व्हील, डुअल क्लसस्टर ले आउट वाले टेल लाइट्स और आकर्षक कैरेक्टर लाइन को शामिल किया गया है। जो कि इस एसयूवी के लुक को बेहतर बनाते हैं।
Hyundai Kona का ड्राइविंग एक्सपेरिएंस: बिना समय गवाएं इस एसयूवी के ड्राइविंग अनुभवों के बारे में जान लेते हैं। इसमें कंपनी ने 39.2 kWh lithium-ion बैटरी का प्रयोग किया है। जो कि 136 ps की पावर और 395 Nm का टॉर्क जेनरेट करती है। इंजन के मामले में हुंडई कोना काफी पावरफुल है, इसने बड़े ही आसानी से 165 किलोमीटर प्रतिघंटा की रफ्तार पकड़ ली। हालांकि इससे उपर जाने पर इसकी परफॉर्मेंस थोड़ी धीमी जरुर हो जाती है।

इस SUV की सबसे खास बात इसकी रेंज है। कंपनी का दावा है कि ये एसयूवी सिंगल चार्ज में तकरीबन 452 किलोमीटर तक चल सकती है। लेकिन रियल वर्ल्ड में ये एसयूवी 300 किलोमीटर तक का रेंज देने में सक्षम है। बता दें कि, कंपनी कुछ खास मानकों पर गाड़ियों के रेंज को चेक करती है, और उन मानकों पर सामान्य तौर पर वाहन को चला पाना मुश्किल होता है। इसलिए रेंज में ये फर्क देखने को मिलता है, ये ठीक उसी प्रकार है जैसा कि माइलेज में आपको फर्क देखने को मिलता है।
कंपनी Hyundai Kona के साथ वॉल चार्जिंग यूनिट भी दे रही है, जिससे इसे चार्ज करना बेहद ही आसान है। ये एसयूवी महज 57 मिनट में ही 80 प्रतिशत तक आसानी से चार्ज हो जाती है। इसके अलावा इसे फुल चार्ज होने में कुल 6 घंटे 10 मिनट तक का समय लगता है। यदि आप इसे अपने घर में लगे नॉर्मल सॉकेट से चार्ज करते हैं तो ये तकबरीबन 20 घंटे का समय लेगी।

इस SUV में कंपनी ने अलग अलग ड्राइविंग मोड भी दिया है, जिसमें इको प्लस, इको, कम्फर्ट और स्पोर्ट मोड्स शामिल है। यदि आप लंबी दूरी तक इस इलेक्ट्रिक एसयूवी को ड्राइव करना चाहते हैं तो आपको इको मोड का चयन करना होगा। ड्राइविंग के दौरान Hyundai Kona का परफॉर्मेंस काफी बेहतर रहा है।
ये एसयूवी हैंडलिंग के मामले में भी काफी बेहतर है, एक इलेक्ट्रिक गाड़ी होने के बावजूद भी ड्राइविंग के दौरान ऐसा कत्तई नहीं लगा कि इसके स्पीड में कोई कमी आई हो। स्ट्रेट लाइन स्टैबिलिटी के चलते आप बड़े ही आसानी से इसे ड्राइव कर सकते हैं। इसके अलावा स्पीड में लेन चेंज करने के दौरान भी इसके परफॉर्मेंस में कोई कमी नहीं आती है। इसके अलावा इसकी ब्रेकिंग भी काफी प्रभावी और संतुलित है। इलेक्ट्रिक कार होने के इसके इंजन में कोई भी साउंड नहीं आता है जो कि कुछ चालकों को थोड़ा अटपटा लग सकता है। हालांकि ये एक शांत ड्राइविंग के लिए बेहतर भी है।

Hyundai Kona का इंटीरियर और फीचर्स: इस एसयूवी का इंटीरियर और केबिन भी काफी बेहतर है। कंपनी ने इसमें 17.77 सेमी का ट्चस्क्रीन इन्फोटेंमेंट सिस्टम दिया है। जिसे आप एप्पल कार प्ले और एंड्राएड ऑटो से आसानी से कनेक्ट कर सकते हैं। इसके पहली पंक्ति में बेहतर कुशन वाले सीट्स दिए गए हैं।
इसके अलावा पिछली पंक्ति में आपको पर्याप्त जगह भी मिलती है। हालांकि इस प्राइस सेग्मेंट में आने वाली कारें ज्यादा बेहतर स्पेस प्रदान करती हैं। फीचर्स की बात करें तो इस एसयूवी में आपको 6 एयरबैग, एंटी लॉक ब्रेकिंग सिस्टम, इलेक्ट्रॉनिक ब्रेकफोर्स डिस्ट्रीब्यूशन, हिल स्टार्ट एसिस्ट, टायर प्रेसर मॉनिटरिंग सिस्टम और सभी पहियों में डिस्क ब्रेक जैसे फीचर्स मिलते हैं।

Hyundai Kona की कीमत और निष्कर्ष: इस एसयूवी के बारे में अभी भी बहुत कुछ ऐसा जानना बाकी है जिसके बारे में हम आपको डिटेल रोड टेस्ट रिव्यू में बताएंगे। फिलहाल इतना कहा जा सकता है कि, इस एसयूवी ने देश के इलेक्ट्रिक मोबिलिटी के क्षेत्र में एक क्रांतिकारी परिवर्तन किया है। इस एसयूवी को आप रोजाना प्रयोग में ला सकते हैं और कंपनी का दावा है कि ये सामान्य पेट्रोल कारों के मुकाबले 5 गुना कम खर्चीली है। हालांकि उंची कीमत होने के कारण ये मध्यम वर्गीय परिवारों से थोड़ी दूर है लेकिन कंपनी ने सरकार ने इलेक्ट्रिक वाहनों के नीतियों में बदलाव की मांग भी की है। यदि सरकार इस दिशा में और भी बेहतर कदम उठाती है तो ये एसयूवी सबकी पहुंच तक हो सकती है। कुल मिलाकर अपनी कीमत में ये एक बेहतर इलेक्ट्रिक एसयूवी का फील देती है।