बैंक खाताधारकों के लिए रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (आरबीआई) ने हाल में दो बड़े फैसले लिए हैं। इन दोनों ही फैसलों का आप पर सीधा असर पड़ा रहा है। आरबीआई ने नए साल से कॉन्टैक्टलेस डेबिट-क्रेडिट कार्ड और यूपीआई से बिना पिन ट्रांजेक्शन की लिमिट को 2 हजार रुपये से 5 हजार रुपये कर दिया है।
इसके साथ ही ग्राहकों को रियल टाइम ग्रॉस सेटलमेंट सिस्टम यानि आरटीजीएस में भी बदलाव किय है। आरबीआई ने डिजिटल ट्रांजेक्शन को बढ़ावा देने के लिए आरटीजीएस सर्विस को 24 घंटे के लिए उपलब्ध करवाने का फैसला लिया है। आरबीआई ने इस फैसले को 14 दिसंबर से ही लागू करने का फैसला किया है।
इन दोनों ही फैसलों से ग्राहकों को बड़ी राहत मिली है। सबसे पहले ट्रांजेक्शन लिमिट को बढ़ाने के फैसले पर बात करें तो यह व्यवस्था नए साल पर लागू होगी। आरबीआई ने कहा है कि कॉन्टैक्टलेस ट्रांजेक्शन (बिना पिन नंबर) की बढ़ाई गई लिमिट का फायदा एक जनवरी से ही ग्राहकों को मिलने लगेगा।
वहीं बड़े लेन-देन के लिए रियल टाइम ग्रॉस सेटलमेंट सिस्टम की जरूरत होती है। पैसा रियल टाइम आधार पर ट्रांसफर किया जाता है। इसके तहत न्यूनतम ट्रांसफर अमाउंट दो लाख रुपये है जबकि अधिकतम की कोई सीमा नहीं होती। एक ही बैंक में एक खाते से दूसरे खाते में इसके जरिए फंड ट्रांसफर नहीं किया जा सकता। ऐसे में आरटीजीएस को 24 घंटे सातों दिन उपलब्ध करवाकर ग्राहकों को फायदा मिल रहा है।