pradosh kaal upay: शास्त्रों के अनुसार प्रदोष काल अत्यंत पवित्र माना जाता है। धार्मिक मान्यता है कि यह वह समय होता है जब दिन और रात का मिलन होता है और पूरा वातावरण दिव्य ऊर्जा से भर जाता है। यह समय भगवान शिव को समर्पित होने के कारण विशेष रूप से पूजनीय है। कहते हैं कि इस दौरान की गई पूजा-उपासना का फल कई गुना अधिक मिलता है। प्रदोष काल की शुरुआत सूर्यास्त के साथ होती है और लगभग 2 घंटे 48 मिनट तक रहती है। कहा जाता है कि इसी समय भगवान शिव कैलाश पर्वत पर नृत्य करते हैं, इसलिए इस दौरान की गई उपासना विशेष रूप से सफल और सिद्धि प्रदान करने वाली मानी जाती है। इसके अलावा प्रदोष काल में कुछ खास उपाय करने का विशेष महत्व बताया गया है। कहते हैं कि इन उपायों को करने से जीवन में सुख-समृद्धि बढ़ती है और भगवान शिव के साथ माता लक्ष्मी का आशीर्वाद प्राप्त होता है। तो चलिए जानते हैं प्रदोष काल में किए जाने वाले उपायों के बारे में…

प्रदोष काल में क्या करें?

माना जाता है कि इस पवित्र समय में शिव आराधना करने से विवाह में आ रही बाधाएं दूर होती हैं, व्यापार में प्रगति होती है और स्वास्थ्य संबंधी कष्ट भी कम होने लगते हैं। साथ ही व्यक्ति को धन-धान्य और आरोग्य की भी प्राप्ति होती है।

शिवलिंग की पूजा का महत्व

प्रदोष काल शुरू होते ही स्नान करके शिव मंदिर जाना बेहद शुभ माना जाता है। अगर मंदिर नहीं जा सकते तो घर पर ही शिवलिंग की विधि-विधान से पूजा करें। बेलपत्र पर सफेद चंदन से ‘ॐ’ लिखकर शिवलिंग पर चढ़ाएं। इसके बाद एक लोटा जल या कच्चा दूध अर्पित करें। भगवान शिव को खीर, गुड़ या अपनी सामर्थ्य अनुसार कोई भी भोग लगाएं। मान्यता है कि ऐसा करने से घर-परिवार में सुख-शांति आती है, आर्थिक परेशानियां कम होती हैं और जीवन में सकारात्मक परिवर्तन दिखने लगते हैं।

महामृत्युंजय मंत्र का जाप

प्रदोष काल में महामृत्युंजय मंत्र का जाप अत्यंत शुभ माना जाता है। इस मंत्र का जाप करने के लिए शांत स्थान पर बैठकर रुद्राक्ष की माला से 108 बार मंत्र का जप करें। मान्यता है कि यह मंत्र मन की अशांति को दूर करता है, भय को मिटाता है और स्वास्थ्य को मजबूत बनाता है। इसके अलावा नियमित रूप से इस मंत्र का जाप करने से मानसिक मजबूती बढ़ती है और जीवन की परेशानियां दूर होने लगती हैं।

मुख्य द्वार पर दीपक जलाएं

प्रदोष काल में घर के मुख्य दरवाजे के दोनों ओर शुद्ध घी के दीपक जलाना बेहद शुभ माना जाता है। मान्यता है कि इससे घर में सकारात्मक ऊर्जा प्रवेश करती है और नकारात्मक शक्तियां दूर रहती हैं। साथ ही ऐसा करने से माता लक्ष्मी की कृपा भी बनी रहती है।

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