दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और पंजाब के सीएम भगवंत मान के बुधवार को जालंधर दौरे से ठीक पहले कुछ लोगों ने वहां की दीवारों पर खालिस्तान समर्थक नारे लिख दिए। पुलिस के मुताबिक जालंधर की शक्ति पीठ, देवी तालाब मंदिर के पास दीवारों पर खालिस्तान समर्थक नारों को देखकर स्थानीय लोगों ने इसकी सूचना दी। अफसरों का कहना है, “हम नारे लगाने वाले का पता लगाने के लिए सीसीटीवी फुटेज की जांच कर रहे हैं।”

पुलिस ने कहा कि पंजाब में माहौल खराब करने की कुछ लोगों की कोशिशें लगातार जारी हैं। इसके चलते सुरक्षा एजेंसियां और चौकसी बरत रही हैं। इसकी वजह से सुरक्षा व्यवस्था और सख्त कर दी गई है। पिछले एक हफ्ते में इस तरह का यह तीसरा मामला है।

खालिस्तान समर्थकों ने रात के समय काले रंग की पेंट स्प्रे करके जगह-जगह नारे लिखकर दोनों मुख्यमंत्रियों को सीधे चुनौती देने का काम किया है। इससे पहले खालिस्तानी समर्थकों ने रूपनगर में डीसी और एसएसपी कार्यालय के बाहर इस तरह के नारे लिखे थे। इसके अलावा फरीदकोट के न्यायाधीश और रेलवे के डीआरएम के घर के बाहर भी खालिस्तान के समर्थक नारे लिखे गए थे।

हाल ही में अमृतसर के स्वर्ण मंदिर में भी इस तरह की घटना हुई थी। वहां प्रवेश द्वार पर भारी संख्या में लोग जुट गए और खालिस्तान समर्थक नारे लगाए और अलगाववादी नेता जरनैल सिंह भिंडरावाले के पोस्टर-बैनर लहराए।

बाद में पुलिस ने मामले में दो लोगों को गिरफ्तार भी किया था। पुलिस ने गुरदासपुर के थाना सदर के अधीन पड़ते गांव जौर निवासी मंजीत सिंह उर्फ बाबा और लुधियाना जिला स्थित विर्क गांव निवासी सौधागर सिंह के खिलाफ केस दर्ज किया था। इनके दूसरे साथियों की भी तलाश की जा रही है।

दरअसल ‘ऑपरेशन ब्लूस्टार’ की 38वीं बरसी पर स्वर्ण मंदिर में कट्टरपंथी सिख संगठनों ने खालिस्तान के समर्थन में नारे लगाए थे। इस दौरान कई युवक हाथ में तख्तियां थामे थे, जिन पर ‘खालिस्तान जिंदाबाद’ लिखा हुआ था। उन्होंने मारे गए जरनैल सिंह भिंडरांवाले की तस्वीर वाली ‘टी-शर्ट’ भी पहन रखी थी। मौके पर मौजूद पूर्व सांसद सिमरनजीत सिंह मान के नेतृत्व वाले शिरोमणि अकाली दल (अमृतसर) के कार्यकर्ताओं ने भी खालिस्तान समर्थक नारे लगाए। उन्होंने पंजाबी गायक सिद्धू मूसेवाला की हत्या का मुद्दा भी उठाया और उनके परिवार के लिए न्याय की मांग की थी।