दिल्ली में कोरोना के नए मामलों में मंगलवार (12 अप्रैल) के मुकाबले बुधवार को करीब 50 फीसद इजाफा दर्ज किया गया है। ताजा आंकड़ों के मुताबिक, आज राजधानी में कोरोना संक्रमण के 299 नए मामले सामने आए हैं, जबकि कल 202 केस दर्ज किए गए थे। इसके साथ ही दिल्ली में कोरोना संक्रमण के कुल मामलों की संख्या बढ़कर 18,66,881 हो गई है। दो महीनों में लगातार गिरावट दर्ज करने के बाद पिछले कुछ दिनों से दिल्ली में मामलों में तेजी देखी गई है। हालांकि पिछले 24 घंटे में कोरोना संक्रमण के कारण मौत का कोई मामला सामने नहीं आया है। ताजा मामलों के बाद दैनिक सकारात्मकता दर 2.49 प्रतिशत हो गई है।
दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ने पहले कहा था कि दिल्ली सरकार स्थिति पर नजर रखे हुए है और जब तक चिंता का कोई नया रूप सामने नहीं आता तब तक परेशानी की कोई बात नहीं है। उन्होंने कहा, “दिल्ली में दैनिक मामले 100-200 के बीच दर्ज किए जा रहे हैं। हम अस्पताल में भर्ती होने वालों की संख्या पर नजर रख रहे हैं और इसमें कमी देखी गई है। अभी सकारात्मकता दर पर ज्यादा ध्यान नहीं दिया जाना चाहिए।” बता दें कि इस साल 13 जनवरी को महामारी की तीसरी लहर के दौरान दिल्ली में कोरोना के दैनिक मामलों की संख्या 28,867 तक पहुंच गई थी।
इस दौरान कोरोना वायरस के नए वेरिएंट ओमिक्रोन के कारण मामलों में अचानक से वृद्धि देखी गई थी। 14 जनवरी को सकारात्मकता दर 30.6 प्रतिशत दर्ज की गई थी, जो महामारी की तीसरी लहर के दौरान सबसे अधिक थी। कोरोना के मामलों में कमी को देखते हुए हाल ही में दिल्ली सरकार ने सार्वजनिक स्थानों पर मास्क नहीं पहनने पर जुर्माना नहीं लगाने की घोषणा की थी। हालांकि दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने आधिकारिक तौर पर यह नहीं कहा कि मास्क अब अनिवार्य नहीं हैं, सिर्फ मास्क ना पहनने पर 500 रुपये का फाइन नहीं लगने की घोषणा की थी। मास्क व्यापक रूप से वायरस के प्रसार को रोकने के लिए एक महत्वपूर्ण उपाय के रूप में माना जाता है।
सरकार के इस कदम की आलोचना करते हुए, फोर्टिस अस्पताल में पल्मोनोलॉजी की सलाहकार डॉ ऋचा सरीन ने कहा कि यह एक “स्थिर निर्णय” नहीं था और यदि स्थिति फिर से बिगड़ती हुई नजर आती है, तो नियमों को फिर से बदला जा सकता है।