पश्चिम बंगाल के पश्चिम बर्धमान जिले के एक निजी मेडिकल कॉलेज की एमबीबीएस छात्रा को शुक्रवार रात कथित तौर पर कॉलेज परिसर से बाहर घसीटकर बलात्कार किया गया। पुलिस ने बताया कि इस सिलसिले में अभी तक कोई गिरफ्तारी नहीं हुई है। उन्होंने बताया कि मामला सामने आने के बाद मेडिकल कॉलेज के छात्रों ने प्रिंसिपल के कार्यालय के बाहर विरोध प्रदर्शन किया।

पुलिस सूत्रों के अनुसार, ओडिशा की रहने वाली पीड़िता अपने एक पुरुष मित्र के साथ कॉलेज परिसर से बाहर गई थी, तभी उसे कथित तौर पर कॉलेज परिसर के पीछे स्थित एक जंगल में घसीटकर ले जाया गया और उसके साथ यौन उत्पीड़न किया गया। सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची। पीड़िता का फिलहाल एक स्थानीय अस्पताल में इलाज चल रहा है, जहां उसकी हालत स्थिर बताई जा रही है, हालांकि वह अभी भी गहरे सदमे में है।

पश्चिम बंगाल के प्रमुख स्वास्थ्य सचिव नारायण स्वरूप निगम ने कहा कि मामले की पुलिस जांच कर रही है और चिकित्सा शिक्षा निदेशक को एक विस्तृत रिपोर्ट देने को कहा गया है।

MBBS डॉक्टर से रेप, पीड़िता ने बताई आपबीती, क्या है पूरी कहानी?

एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी के अनुसार, मेडिकल कॉलेज के कर्मचारियों और छात्रा के मित्र से पूछताछ की जा रही है। पुलिस यह भी पता लगा रही है कि कॉलेज प्रशासन ने छात्रा को उस खास समय पर परिसर से बाहर क्यों जाने दिया। एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि संदिग्धों की पहचान के लिए सीसीटीवी फुटेज और अन्य सबूतों की जांच की जा रही है।

पुलिस ने अभी तक इस मामले में कोई आधिकारिक बयान जारी नहीं किया है। सूत्रों के अनुसार, जांचकर्ता घटनाओं के क्रम को समझने के लिए कई पहलुओं की जांच कर रहे हैं।

पिता ने अधिकारियों पर लापरवाही का आरोप लगाया

इस बीच पीड़िता के पिता शनिवार सुबह पहुंचे और उन्होंने कॉलेज प्रशासन पर लापरवाही बरतने और छात्रावास में अपर्याप्त सुरक्षा प्रदान करने का आरोप लगाया। पत्रकारों से बात करते हुए उन्होंने कहा, “मुझे कल रात एक फोन आया जिसमें बताया गया कि मेरी बेटी के साथ बलात्कार हुआ है और उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया है, और मुझे जल्द से जल्द आना चाहिए। मैं आज सुबह पहुंचा और देखा कि मेरी बेटी की हालत गंभीर है। अस्पताल प्रशासन की ओर से कोई जवाब नहीं दिया गया।”

उन्होंने बताया कि उनकी बेटी अपने दोस्त के बुलावे पर कैंपस के बाहर ‘फुचका’ खाने गई थी। उन्होंने आगे बताया कि जब वह कैंपस के गेट पर पहुंची, तो चार-पांच लोगों ने उसे घसीटकर एक सुनसान जगह पर ले जाकर उसके साथ बलात्कार किया, उसका मोबाइल फोन छीन लिया और उसे वापस करने के लिए 3,000 रुपये भी मांगे। बाद में, छात्रा के साथ आईं उसकी दोस्त उसे वापस ले आई।

पिता ने कहा, “मैं अपनी बेटी के लिए न्याय चाहता हूं ताकि ऐसी घटना किसी और लड़की के साथ न हो। मैंने उसे डॉक्टर बनकर लोगों की सेवा करने के कई सपने दिखाकर यहां भेजा था। कैंपस में सुरक्षा का कोई इंतजाम नहीं है।”

छात्रा की मां ने बताया कि उनकी बेटी अपनी दोस्त के साथ खाना खाने गई थी। उन्होंने आगे कहा, “उसने बताया कि उसने तीन-चार लोगों को उनका पीछा करते देखा और लड़का जंगल की ओर भागने लगा। वह भी उसके पीछे दौड़ी और फिर उन्होंने उसे पकड़ लिया और उसके साथ बलात्कार किया।”

राष्ट्रीय महिला आयोग की टीम पश्चिम बर्धमान रवाना

द इंडियन एक्सप्रेस से बात करते हुए, राष्ट्रीय महिला आयोग (NCW) की सदस्य अर्चना मजूमदार ने कहा, “आरजी कर हत्याकांड से लेकर लॉ कॉलेज की घटना तक, बंगाल में ऐसी घटनाएं निंदनीय हैं। दुख की बात है कि पीड़ितों को न्याय नहीं मिलता। हम बहुत चिंतित हैं। कामदुनी बलात्कार और हत्या मामले में भी अपराधी बाहर हैं।” राष्ट्रीय महिला आयोग की एक टीम पश्चिम बर्धमान के लिए रवाना हो चुकी है।

उन्होंने कहा कि यौन उत्पीड़न रोकथाम (POSH) के लिए समितियां गठित करने के मामले में जागरूकता बहुत कम है। मजूमदार ने कहा, “सीसीटीवी, निगरानी और उचित प्रकाश व्यवस्था जैसे अन्य बुनियादी ढांचे भी होने चाहिए। अगर ये सुरक्षा उपाय उपलब्ध नहीं कराए गए, तो माता-पिता के लिए अपनी बेटियों को घर से बाहर पढ़ने भेजना चिंता का विषय होगा।”

“हमें इसे कम करने के लिए काम करना चाहिए। अगर दोषसिद्धि नहीं होती है, तो अपराधियों के हौसले और बुलंद होंगे। इसके अलावा, हमने यह भी देखा है कि पुलिस सहयोग नहीं करती है। हमें महिलाओं की सुरक्षा करनी होगी। हमने मामला दर्ज कर लिया है और पीड़िता और उसके परिवार के साथ-साथ पुलिस से बात करने के लिए घटनास्थल पर जा रहे हैं। अगर अभी कदम नहीं उठाए गए, तो इस राज्य में महिलाओं का भविष्य खतरे में पड़ जाएगा।”

इस साल जुलाई में, दक्षिण कोलकाता के एक लॉ कॉलेज परिसर में एक छात्रा के साथ कथित तौर पर सामूहिक बलात्कार किया गया था, जिसके बाद विरोध प्रदर्शन और जांच शुरू हो गई थी।

पश्चिम बर्धमान जिले के निजी कॉलेज में एमबीबीएस दूसरे साल की छात्रा के साथ शुक्रवार रात कथित रूप से बलात्कार की घटना ने आरजी कर मेडिकल कॉलेज की जूनियर डॉक्टर के माता-पिता की दर्दनाक यादें ताजा कर दी हैं। पिछले साल अगस्त में हुई उस घटना में छात्रा की बलात्कार के बाद हत्या कर दी गई थी। आरजी कर पीड़िता के पिता ने कहा कि लड़की इस राज्य में डॉक्टर बनने और लोगों की सेवा करने का सपना लेकर आई थी, लेकिन उसके साथ ऐसा हुआ और उसके सपने टूट गए। उन्होंने प्रशासन से मामले की पूरी जांच करने और न्याय सुनिश्चित करने की अपील की और कहा कि वे पीड़िता के साथ खड़े हैं और उसकी न्याय की लड़ाई में मदद करेंगे। आरजी कर मेडिकल कॉलेज वाले मामले में भारी हंगामे और विरोध प्रदर्शन के बाद पुलिस ने एक सिविक वॉलंटियर को गिरफ्तार किया था और इस वर्ष जनवरी में कोर्ट ने उसे आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी।