मध्य प्रदेश की नई कांग्रेस सरकार पर एक फैसला भारी पड़ने वाला है। उसे यह फैसला निवर्तमान मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की एक घोषणा पर लेना होगा। उनकी यह एक घोषणा 2200 करोड़ रुपए की पड़ने वाली है। अगर नई सरकार ने इतनी रकम खर्च कर दी तो राज्य की माली हालत खस्ता हो जाएगी, जिससे अन्य विकास कार्यों के लिए पैसे जुटाने में पसीने छूट जाएंगे। और, अगर यह कह कर घोषणा खारिज कर दी कि पूर्व मुख्यमंत्री ने यह वादा किया था तो भारी संख्या में किसान नाराज हो सकते हैं। यानी, दोनों ही स्थिति में मतदाताओं की नाराजगी तय है और आशंका है कि 2019 के लोकसभा चुनाव में यह नाराजगी कांग्रेस को भारी पड़ सकती हैैै।
दरअसल, चुनाव आचार संहिता लागू होने से ठीक पहले, 5 अक्टूबर को शिवराज सिंंह ने घोषणा की थी कि किसानों को सोयाबीन और मक्के की फसल पर प्रति-क्विंटल 500 रुपये का बोनस दिया जाएगा। उन्होंने यह भी कहा था कि 20 अक्टूबर, 2018 से 19 जनवरी, 2019 के बीच सरकारी मंडियों में बेची गई फसल पर यह बोनस देय होगा। इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक, 10 दिसंबर तक 15.29 लाख टन सोयाबीन और 9.96 लाख टन मक्का राज्य सरकार की 257 मंडियों में बेचा जा चुका है। अनुमान के मुताबिक 19 जनवरी तक 28 लाख टन सोयाबीन और 16 लाख टन मक्का बेच दिया जाएगा। इतनी फसल पर दिए जाने वाले बोनस से सरकारी खजाने पर करीब 2,200 करोड़ रुपये का बोझ आने का अनुमान है।
किसानों को बोनस की रकम 19 जनवरी, 2019 के बाद से भुगतान किया जाना है। इससे पहले कांग्रेस सरकार को अपना किया एक वादा पूरा करना है। कांग्रेस ने वादा किया है कि सरकार गठन के 10 दिनों के भीतर किसानों के लोन माफ करेगी। किसानों के 2 लाख रुपये तक का ऋण और बिजली बिल माफ करने पर भी भारी रकम खर्च होनी है। इस मामले में वादाखिलाफी का आरोप न लगे, इसके लिए सरकार को बड़ा आर्थिक बोझ उठाना होगा। इसके बाद 2200 करोड़ रुपए का इंतजाम और 17 कृषि उत्पादों पर बोनस देने का अपना वादा निभाने में कांग्रेस सरकार की कमर टूटनी स्वाभाविक है। इतना खर्च करने के बाद विकास के बाकी काम के लिए रकम जुटाना टेढ़ी खीर होगी। एेसे में शहरी मतदाताओं का नाराज होने का पूरा खतरा है। वादे पूरे नहीं किए तो ग्रामीण मतदाता, खास कर किसान नाराज हो सकते हैं। इस तरह कांग्रेस के लिए एक तरफ कुआं तो दूसरी तरफ खाई वाली स्थिति है।
Election Result 2018 Highlights: Rajasthan | Telangana | Mizoram | Madhya Pradesh | Chhattisgarh Election Result 2018
कांग्रेस ने धार्मिक आस्थाओं को लेकर भी बड़े वादे किए हैं। इनमें ‘राम वन गमन पथ’, हर पंचायत में गऊशाला का निर्माण, गाय के मूत्र का कर्मशल इस्तेमाल और आध्यात्मिक डिपार्टमेंट खोलना शामिल है। अगर इन वादों के संबंध में मतदाता जरा भी ठगा हुआ महसूस किया तो 2019 के चुनाव में वह ‘बदला’ लेे सकता है।