छत्तीसगढ़ में 12वीं कक्षा के बच्चों की परीक्षा के पेपर भेजने के लिए हेलीकॉप्टर का इस्तेमाल किया गया। राज्य के नक्सल प्रभावित सुकमा जिले के जगरगुंडा के एक केंद्र पर गुरुवार की रात ये पेपर भेजे गये। यह केंद्र इलाके के काफी अंदर है। राज्य में माध्यमिक शिक्षा मंडल की 12वीं कक्षा की परीक्षाएं 1 मार्च को शुरू हुईं। नक्सल प्रभावित क्षेत्र में परीक्षा के लिए सुरक्षा के लिहाज से पेपर को केंद्र तक पहुंचाने के लिए हेलीकॉप्टर का इस्तेमाल किया गया। खुद सीएम विष्णु देव साय के कार्यालय ने इसकी तस्वीरें सोशल मीडिया पर शेयर कीं। 10वीं की परीक्षाएं शनिवार 2 मार्च से शुरू होंगी।
परीक्षा एक मार्च को शुरू हुई, रात में भेजे गये थे प्रश्नपत्र
सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर पोस्ट में कहा गया, “यह है हमारा छत्तीसगढ़, जहां बच्चों के भविष्य की चिंता सबसे पहले की जाती है। प्रदेश के दूरस्थ आदिवासी जिले सुकमा के जगरगुंडा के लिए हेलीकॉप्टर से प्रश्नपत्र भेजे गए। एक मार्च से शुरू हो रही हैं बोर्ड परीक्षाएं।” कार्यालय ने पोस्ट में कहा, “मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने जिला प्रशासन के इस प्रयास की सराहना करते हुए कहा कि आदिवासी अंचल के बच्चों के उज्ज्वल भविष्य के लिए की गई यह पहल काबिले तारीफ है।” पोस्ट में यह भी लिखा, “कोई बच्चा न रहे अच्छी शिक्षा से वंचित। नौनिहालों के बेहतर भविष्य के लिए छत्तीसगढ़ सरकार समर्पित।”
केंद्र पर अलग-अलग स्कूलों के 36 छात्र परीक्षा दे रहे हैं
छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित सुकमा जिले के जगरगुंडा के इस केंद्र पर अलग-अलग स्कूलों के 36 छात्र परीक्षा दे रहे हैं। इनमें 12वीं के 16 और 10वीं के 20 छात्र हैं। इस केंद्र पर पिछली बार भी हेलीकॉप्टर से पेपर भेजे गये थे। पहले यहां के छात्रों को परीक्षा देने के लिए दोरनापाल जाना पड़ता था।
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय सोशल मीडिया पर परीक्षा देर रहे छात्रों का उत्साहवर्धन किया और कहा कि वे भयमुक्त होकर पूरे आत्मविश्वास के साथ परीक्षा दें। उन्होंने उम्मीद जताई कि बच्चों के अच्छे नंबर आएंगे।
इन दिनों राज्य बोर्डों के अलावा सीबीएसई और आईसीएसई की भी परीक्षाएं हो रही हैं। अगले महीने से लोकसभा चुनाव की प्रक्रिया शुरू होने की संभावना है। साथ ही होली समेत कुछ त्योहार भी हैं। ऐसे में परीक्षाओं को समय से कराए जाने के लिए बोर्ड पूरा ऐहतियात बरत रहा है।