Bihar News in Hindi: तेजस्वी यादव के ‘पलटू चाचा’ नीतीश कुमार कब किस खेमे में शामिल हो जाएं, ये शायद उनके अलावा कोई और ही जानता हो। फिलहाल नीतीश कुमार महागठबंधन के साथ हैं लेकिन इस खेमे से अब जीतनराम मांझी की पार्टी HAM (S) दूरी बनाती दिखाई दे रही है। बिहार सरकार में शामिल HAM (S) पार्टी के नेता संतोष कुमार सुमन ने मंत्री पद से इस्तीफा दे दिया है।

संतोष सुमन के पिता जीतनराम मांझी ने कुछ महीने पहले अमित शाह से मुलाकात की थी। अब उनके बेटे के मंत्री पद से इस्तीफे के बाद यह कयास लगाए जा रहे हैं कि जीतनराम मांझी जल्द ही एनडीए के खेमे में दिखाई देंगे।

जीतनराम मांझी एनडीए में शामिल हो जाएं तो इसपर शायद ही किसी को कोई आश्चर्य हो। बिहार की राजनीति में भले ही नीतीश कुमार ‘पलटू चाचा’ के नाम प्रसिद्ध हों लेकिन जीतनराम मांझी ने भी कम यू टर्न नहीं मारे हैं। 20 मई 2014 को बिहार के सीएम पद की शपथ लेने के बाद सुर्खियों में आए जीतनराम मांझी इससे पहले ही सियासत की पूरी वर्णमाला पढ़ चुके थे। जीतनराम मांझी साल 1980 में पहली बार कांग्रेस के टिकट पर विधायक बने और 1985 में उन्हें मंत्री बनाया गया।

बिहार में लालू यादव के युग की शुरुआत और कांग्रेस के पतन को देखते हुए जीतन राम मांझी ने पाला बदल लिया। वह लालू यादव की पार्टी राजद में शामिल हो गए। वह 1996 से 2005 के बीच राजद की सरकार में मंत्री रहे। 2005 में वह नीतीश के साथ आ गए। साल 2014 में नीतीश कुमार ने आश्चर्यजनक रूप से जीतनराम मांझी को सीएम पद के लिए चुना। साल 2015 में जब उन्हें जदयू ने बाहर का रास्ता दिखाया तो उन्होंने अपनी पार्टी HAM का गठन किया और एनडीए में शामिल हो गए।

साल 2015 में जीतनराम मांझी की पार्टी बीजेपी के साथ थी, उन्हें बिहार विधानसभा चुनाव में 21 सीटें दी गईं लेकिन वह सिर्फ एक सीट ही जीत सके। इसके बाद साल 2017 में नीतीश दोबारा एनडीए में शामिल हो गए। साल 2020 में नीतीश और मांझी दोनों ने एनडीए गठबंधन के तहत चुनाव लड़ा, हालांकि जब नीतीश कुमार अगस्त 2022 में वापस महागठबंधन के साथ गए तो मांझी भी उनके साथ हो लिए।अब बिहार का ताजा घटनाक्रम कह रहा है कि जीतनराम मांझी फिर से पलटी मार सकते हैं।