Dadri Lynching News: उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने ग्रेटर नोएडा के दादरी में 2015 में मोहम्मद अखलाक की भीड़ द्वारा पीट-पीटकर की गई हत्या मामले के आरोपियों के खिलाफ सभी मामलों को वापस लेने की कार्रवाई शुरू की है। जिले के अतिरिक्त जिला सरकारी वकील भाग सिंह भाटी ने शनिवार को बताया कि राज्य सरकार ने अभियोजन वापस लेने के लिए औपचारिक अनुरोध भेजा है।

सरकारी वकील भाग सिंह भाटी ने कहा कि अखलाक हत्याकांड के सभी आरोपियों के खिलाफ मामला वापस लेने के संबंध में सरकार से एक पत्र प्राप्त हुआ है। आवेदन सूरजपुर अदालत में प्रस्तुत किया गया है और इस पर 12 दिसंबर को सुनवाई होगी। अखलाक के परिवार का प्रतिनिधित्व करने वाले वकील यूसुफ सैफी ने कहा कि उन्होंने अभी तक आधिकारिक दस्तावेज नहीं देखे हैं।

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योगी सरकार के वकील ने क्या कहा?

योगी सरकार के सरकारी वकील ने कहा है कि मैंने इसके बारे में बस सुना है। मैं सुनवाई से पहले या सुनवाई की तारीख पर दस्तावेजों को देखने के बाद ही कोई टिप्पणी कर पाऊंगा। मामला 28 सितंबर 2015 का है। ग्रेटर नोएडा के बिसाहड़ा गांव में लाउडस्पीकर पर कथित घोषणा की गई कि अखलाक ने गाय को मारकर उसका मांस फ्रिज में रखा हुआ है जिसके बाद भीड़ ने उनके घर में घुसकर उन्हें पीट-पीटकर मार डाला।

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अखलाक को बचाने में घायल हुए थे दानिश

अखलाक को बचाने की कोशिश में उनके बेटे दानिश को भी गंभीर चोटें आईं। अखलाक की पत्नी इकरामन ने उसी रात जारचा थाने में शिकायत दर्ज कराई, जिसमें 10 नामजद और चार-पांच अज्ञात लोगों पर आरोप लगाए गए। अखलाक और दानिश को नोएडा के एक निजी अस्पताल ले जाया गया, जहां अखलाक को मृत घोषित कर दिया गया।

खूब हुआ था सियासी बवाल

इसके बाद में दानिश को दिल्ली के ‘आर्मी रिसर्च एंड रेफरल’ अस्पताल रेफर किया गया। घटना के एक दशक बाद, यह मामला ग्रेटर नोएडा के सूरजपुर स्थित जिला अदालत में लंबित है। इसको लेकर विपक्षी दलों ने सरकार पर कई गंभीर आरोप लगाए थे और सियासी बवाल काफी बढ़ गया था। अब यह मामला यूपी की सरकार बंद करने की तैयारी कर रही है।

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