नोएडा एक्सप्रेस वे से ट्रैफिक भार को कम करने के लिए एक नया एक्सप्रेस वे बनाने की प्लानिंग की जा रही है। केंद्र सरकार ने इस प्रोजेक्ट में मदद करने की उत्सुकता दिखाई है। केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने मंगलवार को एक कार्यक्रम में कहा कि एनएचएआई नोएडा अथॉरिटी और गौतमबुद्धनगर के सांसद महेश शर्मा के नोएडा एक्सप्रेसवे के समानांतर ऑप्शनल एक्सप्रेस-वे बनाने पर गंभीरता के साथ विचार करेगा।
जेवर में नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट के पास ‘एक पेड़ मां के नाम’ कार्यक्रम में बोलते हुए गडकरी ने कहा कि पैसे की कोई भी समस्या नहीं होगी और एनएचएआई इस प्रोजेक्ट को हाथ में ले सकता है। नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेस-वे पर वाहनों की आवाजाही से लोड बढ़ गया है। हर रोज लगभग एक लाख से ज्यादा वाहन चलते हैं। इसके चलते अक्सर जाम की स्थिति पैदा हो जाती है।
हमारे पास पैसे की कोई कमी नहीं – नितिन गडकरी
मार्च के महीने में नोएडा अथॉरिटी बोर्ड ने इस प्रोजेक्ट को सैद्धांतिक तौर पर मंजूरी दी थी और यूपी के चीफ सेक्रेटरी ने उत्तर प्रदेश एक्सप्रेसवे इंडस्ट्रियल अथॉरिटी को प्रोजेक्ट को अमली जामा पहनाने के लिए तीनों अथॉरिटी से लागत शेयर करने के लिए कहा था। लेकिन नोएडा अथॉरिटी एनएचएआई की तरफ से इसे बनाने की इच्छुक है। केंद्रीय मंत्री ने कहा, ‘फिलहाल हम दिल्ली एनसीआर में 1.2 लाख करोड़ रुपये के प्रोजेक्ट पर काम कर रहे हैं। हम पहले ही 60,000 करोड़ रुपये का काम पूरा कर चुके हैं और आज सांसद महेश शर्मा ने अपने सुझाव हमारे साथ शेयर किए हैं तो इस पर हम गंभीरता से विचार करेंगे। हमारे पास पैसे की कोई भी कमी नहीं है।’
Expressway Pradesh बनेगा उत्तर प्रदेश!
NHAI की मंजूरी का इंतजार
प्रोजेक्ट को शुरू करने के लिए अभी एनएचएआई की औपचारिक मंजूरी का इंतजार है। अपने संबोधन के दौरान महेश शर्मा ने मंत्री से रिवरसाइड बाईपास का निर्माण कार्य शुरू करने का आग्रह किया और कहा कि नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट का पूरी तरह से इस्तेमाल करने के लिए यह बेहद ही जरूरी है। सांसद ने कहा कि बाईपास से दिल्ली से आने वाले लोगों को भीड़भाड़ वाले नोएडा एक्सप्रेसवे में एंट्री किए बिना यमुना एक्सप्रेसवे के जरिये एयरपोर्ट तक पहुंचने की सुविधा मिलेगी। 20 हजार करोड़ की लागत से यूपी में बनने जा रहा 2,063 किमी लंबे 9 एक्सप्रेस-वे
