गुजरात सरकार ने राज्य के नौ लाख से अधिक सरकारी कर्मचारियों और पेंशनभोगियों को तीन महीने के बकाया महंगाई भत्ते (डीए) का भुगतान करने का फैसला किया है।
राज्य के उपमुख्यमंत्री नितिन पटेल ने शुक्रवार को यह जानकारी दी। वित्त मंत्रालय का अतिरिक्त प्रभार संभालने वाले पटेल ने कहा कि इससे राज्य के सरकारी खजाने पर 464 करोड़ रुपये का बोझ पड़ेगा। राज्य सरकार के इस फैसले से सातवें वेतन आयोग के दायरे में आने वाले 5.11 लाख कर्मचारियों और 4.50 लाख पेंशनभोगियों को फायदा होगा। पटेल के अनुसार, “कर्मचारियों को छह महीने के एरियर दिए जाने थे, पर वैश्विक महामारी कोरोना वायरस की वजह से पनपे संकट और हालात ने राज्य सरकार के लिए एरियर की रकम एक बार में जारी करना मुश्किल कर दिया था।”
समाचार एजेंसी ‘IANS’ के हवाले से कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में यह भी बताया गया कि यह रकम इन कर्मचारियों के बैंक खातों में दिवाली से पहले ट्रांसफर कर दी जाएगी।
जानकारी के मुताबिक, चतुर्थ श्रेणी के कर्मचारियों को बोनस दिए जाने का ऐलान भी किया गया है। बताया गया कि यह राशि 3500 रुपए के आसपास हो सकती है, जिससे सीधे तौर पर 30 हजार से अधिक कर्मचारी लाभान्वित होंगे।
इससे पहले, झारखंड और हरियाणा में राज्य सरकार के कर्मचारियों के लिए डीए का ऐलान किया गया था। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के नेतृत्व वाली सरकार ने झारखंड में मंगलवार को डीए को मौजूदा 17 फीसदी से बढ़ाकर 28 प्रतिशत कर दिया, जबकि बीजेपी शासित हरियाणा में सीएम मनोहर लाल खट्टर के नेतृत्व वाली सरकार ने भी पेंशनभोगियों और उनके परिजन के लिए डीए को बढ़ाकर 28 प्रतिशत कर दिया, जो कि पहले 17 फीसदी था।
वहीं, राजस्थान में अशोक गहलोत के नेतृत्व वाली सरकार ने 14 जुलाई को राज्य सरकार के कर्मचारियों और पेंशनभोगियों का डीए 17 फीसदी से बढ़ाकर 28 प्रतिशत करने का ऐलान कर दिया था।