आगामी लोकसभा चुनाव के मद्देनजर कानपुर पहुंचे कांग्रेस के वरिष्ठ नेता राजीव शुक्ला ने पार्टी पदाधिकारियों के साथ बैठक कर लोकसभा चुनाव की तैयारियों की जानकारी ली। इस दौरान उन्होंने कहा कि 2019 का लोकसभा चुनाव हमें हर हाल में जीतना है। उन्होंने कहा कि पार्टी ने कानपुर सीट की जिम्मेदारी मुझे दी है इसलिए आपस में लड़ने की जगह एक साथ मिलकर कार्य करें। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि जो भी गुटबाजी करेगा उसे पार्टी से बाहर का रास्ता दिखा दिया जाएगा। बता दें कि पश्चिमी यूपी के प्रभारी ज्योतिरादित्या सिंधिया ने कानपुर लोकसभा सीट का ऑब्जर्वर राजीव शुक्ला को बनाया है।

राजीव शुक्ला को कानपुर की कमान- बता दें कि कभी कांग्रेस का गढ़ मानी जाने वाली कानपुर लोकसभा सीट 2014 में कांग्रेस के हाथ से निकल गई थी। यहां से पूर्व केंद्रीय मंत्री श्रीप्रकाश जायसवाल तीन बार सांसद रहे हैं। लेकिन 2017 के विधानसभा चुनावों में भी कांग्रेस पार्टी को हार का सामना करना पड़ा है पार्टी को 10 विधानसभा सीटों में से मात्र एक सीट पर जीत मिली। जानकारों की मानें तो पार्टी की ये हालत आपसी गुटबाजी के चलते हुई है। इसके मद्देनजर अब कांग्रेस आलाकमान ने यहां की जिम्मेदारी राजीव शुक्ला को सौंपी है।

 

गुटबाजी और टिकट के दावेदार– मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक कानपुर लोकसभा सीट के लिए आधा दर्जन से अधिक लोगों ने अपनी दावेदारी ज्योतिरादित्य सिंधिया के सामने पेश की है। इनमें श्रीप्रकाश जायसवाल, अजय कपूर, आलोक मिश्रा, प्रमोद जायसवाल आदि नाम शामिल बताए जा रहे है। इसके अलावा गुटबाजी की बात करे तो खुद प्रभारी राजीव शुक्ला ने बुधवार को कानपुर के पार्टी कार्यालय में कहा कि आप लोगों को ज्योतिरादित्य सिंधिया ने गुटबाजी न करने की सलाह दी है। लगता है उनकी बात आप लोगो को नही मान रहें।

उन्होंने कहा कि चुनाव गुटबाजी और आपसी फूट से नहीं जीते जाते हैं। हमें पार्टी को ध्यान में रख कर पार्टी के लिए एक होकर चुनाव लड़ने की जरूरत है। जब पार्टी रहेगी तो हम और आप रहेंगे। गौरतलब है कि पिछले साल कार्यकर्ता सम्मेलन में गुलाम नबी आजाद और राज बब्बर के सामने ही पार्टी के दो गुटों में विवाद हो गया था।