ऋण वसूली न्यायाधिकरण (डीआरटी) ने यूबीएचएल तथा विजय माल्या के आवेदन पर अपना फैसला 25 जुलाई तक के लिये आज सुरक्षित रख लिया। याचिका में बैंकों के समूह द्वारा 6,000 करोड़ रपये के संदर्भ में सौंपे गये ‘संदेहास्पद’ दस्तावेजों की जांच का अनुरोध किया गया है जिसमें कथित रूप से संबंधित पक्षों के मुहर नहीं है।
बैंक के समूह द्वारा सौंपे गये दस्तावेज की जांच-पड़ताल का अनुरोध करते हुए माल्या तथा यूबीएचएल के वकील ने कहा कि कर्ज पर लगाये गये ब्याज से जुड़े स्टेटमेंट दस्तावेज में सौंपे गये हैं, उसमें न तो हस्ताक्षर हैं और न ही मुहर हैं। ऋण वसूली न्यायाधिकरण के पीठासीन अधिकारी सी आर बेंकनहल्ली के समक्ष वकील ने कहा कि दस्तावेज में प्रतिवादी पर विभिन्न बैंकों के जो ब्याज बकाया हैं, उसका भी ब्योरा नहीं है।
डीआरटी ने मामले की अगली सुनवाई के लिये 25 जुलाई की तारीख तय की। माल्या की बंद पड़ी कंपनी किंगफिशर एयरलाइंस पर 17 बैंकों का 9,000 करोड़ रूपये से अधिक बकाया है। ऐसा समझा जाता है कि माल्या इस समय ब्रिटेन में हैं।