प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शुक्रवार को कहा कि कुछ विभाजनकारी ताकतें असम में त्रिशंकु विधानसभा के लिए प्रयास कर रही हैं तथा उन्होंने लोगों से अपील की कि वे ऐसा नहीं होने दें। मोदी ने यहां चुनाव रैली में कहा, ‘देश को तोड़ने वाली ताकतें भरपूर कोशिश कर रही हैं कि असम में बहुमत नहीं आए और मैं लोगों से यह सुनिश्चित करने की अपील कर रहा हूं कि राज्य में त्रिशंकु विधानसभा की कोई संभावना नहीं रहे।’
उन्होंने कहा, ‘असम में आपको पूर्ण बहुमत के साथ सरकार गठित करनी है तथा दूसरे चरण के चुनाव में अब मात्र तीन दिन रह जाने के साथ ही झूठ एवं अफवाहें फैलाने के प्रयास होंगे। किन्तु यह आपका दायित्व है कि प्रत्येक घर में जाइए और इस तरह के कुचक्र को नाकाम कीजिए।’ प्रधानमंत्री ने कहा, ‘पीछे से संचालन नहीं होना चाहिए तथा यह सुनिश्चित कीजिए कि नई सरकार रिमोट चालित न हो।’ उन्होंने कहा, ‘कोई ताकत नहीं है जो भाजपा-अगप-बीपीएफ गठबंधन को राज्य में नई सरकार गठित करने से रोक सके।
मैं शपथ ग्रहण समारोह में भाग लेने एवं असम के लोगों का धन्यवाद देने फिर आऊंगा।’ मोदी ने कहा कि पिछले 30 सालों में पहली बार ऐसा हुआ है कि देश के लोगों ने केंद्र में सरकार गठन के लिए एक पार्टी को पूर्ण बहुमत दिया है तथा परिणाम सभी देख सकते हैं। प्रधानमंत्री ने अपने 45 मिनट के भाषा में कहा, ‘पूरा विश्व देश का गान गा रहा है तथा कुछ इस बात से बहुत परेशान हैं कि सऊदी अरब जैसा देश भी हमारा सामरिक भागीदार बन गया है जबकि मोदी को उस देश का सर्वोच्च नागरिक सम्मान दिया गया है जहां मक्का स्थित है।’
उन्होंने कहा, ‘पुरस्कार मोदी के लिए नहीं है बल्कि यह प्रत्येक भारतीय के लिए एक सम्मान है। हमारी वैश्विक सराहना का कारण है कि लोगों ने उस पार्टी को सरकार बनाने के लिए पूर्ण बहुमत दिया है जो सबका साथ सबका विकास में विश्वास करती है।’ मोदी ने कहा कि सभी भाजपा शासित प्रदेश में गरीबी का स्तर कम है किन्तु असम में यह बहुत उच्च है तथा 15 साल तक यहां शासन करने वाली कांगे्रस सरकार इसके लिए जिम्मेदार है। केंद्र ने दीमा हसाओ स्वायत्तशासी परिषद एवं कारबी आंगलांग स्वायत्तशासी परिषद के लिए क्रमश: 200 करोड़ रुपए एवं 375 करोड़ रुपए निर्धारित किए हैं। इनको क्रमश: 40 करोड़ रुपए एवं 16 करोड़ रुपए दिए जा चुके हैं। किन्तु सरकार ने अभी तक योजनाएं नहीं सौंपी हैं और न ही धन का उपयोग किया है।