लोकसभा चुनाव 2024 को लेकर सियासी पारा चढ़ा हुआ है और जल्द ही चुनाव आयोग अधिसूचना जारी कर सकता है। चुनाव से पहले ही चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर ने कांग्रेस को निराशा वाली बात कही है। पीके ने कहा है कि कांग्रेस के लिए इस लोकसभा चुनावों में भी 100 सीटें हासिल करना मुश्किल हो सकता है। पीके ने कहा कि उन्हें नहीं लगता कि कांग्रेस की सीट संख्या में उन्हें किसी बड़े बदलाव की उम्मीद नहीं है। हालांकि पीके ने बीजेपी की विराट जीत के लक्ष्य को भी मुश्किल ही बताया है और कहा है कि कांग्रेस के लिए 370 सीटें हासिल करना मुश्किल हो सकता है।

दरअसल, एक टीवी चैनल को दिए इंटरव्यू के दौरान प्रशांत किशोर से पूछा गया था कि क्या मोदी को चुनौती दी जा सकती है। इसको लेकर पीके ने कहा, “जो भी इंसान 5 साल जमीन पर उतरकर मेहनत करने को तैयार हो वो मोदी जी को बड़ी चुनौती दे सकता है। ये भ्रम मत पालिए आप लोग कि उन्हें कोई हरा नहीं सकता या फिर ये इतने पॉपुलर हैं कि कोई इनके सामने खड़ा नहीं हो सकता।

पीके ने कहा कि मोदी जी को हराया जा सकता है और हराया भी गया है पिछले 10 सालों में और आगे भी लोग हराएंगे। बिहार में जनसुराज यात्रा निकाल रहे पीके ने इतिहास का उल्लेख करते हुए लोगों को राजीव गांधी और इंदिरा गांधी के समय में भी ऐसा ही लगता था कि उन्हें हराया नहीं जा सकता। अगर 1977 की बात करें तो उस समय जेपी ने इंदिरा गांधी को चुनौती दे दी थी।

कांग्रेस पार्टी के संभावित प्रदर्शन को लेकर प्रशांत किशोर ने कहा कि अगर सीट की संख्या 50 – 55 हो जाए तो इससे देश की राजनीति नहीं बदल जाएगी। मुझे कांग्रेस के लिए चुनाव नतीजे में कोई सकारात्मक बदलाव नहीं दिख रहा है। बड़े बदलाव के लिए कांग्रेस को 100 का आंकड़ा पार करना होगा। पीके ने कहा कि उन्हें नहीं लगता कि कांग्रेस 100 का आंकड़ा पार करेगी। आज की तारीख में यह बहुत मुश्किल है।

बीजेबता दें कि बीजेपी ने लोकसभा चुनाव 2024 में 370 सीटें जीतने का लक्ष्य रखा है। इसको लेकर जब प्रशांत किशोर से बात की गई तो इस पर पीके ने कहा कि बीजेपी ने अपने कार्यकर्ताओं के लिए 370 का यह लक्ष्य रखा है। लोगों को इस 370 के लक्ष्य को सच नहीं मानना चाहिए। हर नेता को लक्ष्य तय करने का अधिकार है। यदि वे इसे हासिल कर लेते हैं तो बहुत अच्छा है, यदि नहीं कर पाते हैं तो पार्टी को इतना विनम्र होना चाहिए कि वह अपनी गलती स्वीकार कर ले।

इसके साथ ही प्रशांत किशोर ने यह भी अनुमान लगाया है कि बीजेपी 2024 के चुनावों के दौरान पश्चिम बंगाल में बेहतरीन प्रदर्शन कर सकती है, क्योंकि संदेशखाली का विवाद सत्तारूढ़ पार्टी को इसका नुकसान हो सकता है।