केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने शुक्रवार को लोकसभा में इस बात पर आश्चर्य जताया कि महिला सांसद को ‘महिला’ कहकर क्यों नहीं संबोधित किया जा सकता है? केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री ने यह टिप्पणी कांग्रेस के अधीर रंजन चौधरी और टीएमसी के सौगत रॉय की ओर जताई गई आपत्ति पर कही। लोकसभा में प्रश्नकाल के दौरान वाईएसआरसीपी की गीता विश्वनाथ वांगा को ईरानी ने महिला सदस्य कहकर संबोधित किया था। इसी पर कांग्रेस और टीमएसी नेता ने आपत्ति जताई थी।
दोनों ने कहा कि मंत्री को उन्हें ‘माननीय सदस्य’ के तौर पर संबोधित करना चाहिए था। इसका जवाब देते हुए स्मृति ईरानी ने कहा कि उन्होंने जो कुछ भी कहा है वह असंसदीय नहीं था और एक महिला सदस्य को महिला संबोधित करना गलत नहीं है। ईरानी ने कहा, “मैंने सदन में उनकी उपस्थिति का कोई अनादर नहीं किया है।”
बीजू जनता दल (BJD) के नेता अनुभव मोहंती ने इस मुद्दे पर केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी के समर्थन में खड़े हुए। उन्होंने कहा कि ईरानी ने किसी भी असंसदीय या अपमानजनक या गलत शब्द का इस्तेमाल नहीं किया। स्मृति ईरानी ने शुक्रवार को लोकसभा को बताया कि उनके मंत्रालय ने देश में कुपोषित बच्चों के आंकड़ों के सत्यापन के लिए भारतीय बाल रोग अकादमी के साथ काम करने का फैसला किया है।
ईरानी ने कहा कि फरवरी में जब 1 करोड़ बच्चों की लंबाई और वजन डब्ल्यूएचओ के मापदंड के अनुसार मापा गया, तो पाया गया कि उनमें से सिर्फ 2 प्रतिशत गंभीर रूप से कुपोषित थे। उन्होंने सदन में एक प्रश्न का उत्तर देते हुए यह बात कही।
ईरानी ने कहा, “लेकिन अगर आप इसे एनएफएचएस (राष्ट्रीय परिवार स्वास्थ्य सर्वेक्षण) के आंकड़ों से मिलाते हैं, तो यह आंकड़ा वहां 19 प्रतिशत है।” बता दें कि संसद के बजट सत्र का दूसरा भाग 14 मार्च को शुरू हुआ और 8 अप्रैल को समाप्त होगा। बजट सत्र की पहला भाग 31 जनवरी को शुरू हुआ और 11 फरवरी को समाप्त हुआ।