नए संसद भवन के उद्घाटन को लेकर देश में चल रहे सियासी बवाल के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी गुरुवार (25 मई, 2023) को सुबह भारत लौटे हैं। वह जापान, पापुआ गिनी और ऑस्ट्रेलिया तीन देशों के दौरे पर थे। वापस लौटते ही प्रधानमंत्री ने एकजुटता पर बयान दिया है। उन्होंने कहा कि ऑस्ट्रेलिया में सरकार और विपक्ष भी कार्यक्रम के दौरान एक साथ था।

तीन देशों के अपने दौरे के दौरान प्रधानमंत्री सबसे आखिर में ऑस्ट्रेलिया गए और यहां दो दिन रहे। इस दौरान, उन्होंने वहां के मंदिरों में हुए हमलों को लेकर ऑस्ट्रेलिया के अपने समकक्ष एंथनी एल्बनीज से मुलाकात की। वहां एक भारतीय समुदाय का कार्यक्रम भी हुआ, जिसमें एंथनी एल्बनीज और अन्य नेता भी शामिल हुए। प्रधानमंत्री ने कहा कि भारतीय समुदाय के कार्यक्रम में ना सिर्फ वहां के पीएम और सरकार के सदस्य शामिल हुए, बल्कि पूर्व पीएम और विपक्षी दलों ने भी कार्यक्रम में हिस्सा लिया।

उन्होंने कहा कि यह भारतीयों के प्रति उनके सम्मान को दिखाता है और दोनों देशों के बीच रिश्तों को रेखांकित करता है। इससे पहले, विदेश मंत्री एस. जयशंकर और भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा ने भी बात की और दुनिया में भारत की बढ़ती छवि और प्रतिष्ठा के लिए पीएम मोदी के नेतृत्व की प्रशंसा की।

देश में नए संसद भवन का 28 मई को उद्घाटन होना है, लेकिन इस पर सियासी बवाल शुरू हो गया है। संसद भवन का उद्घाटन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी करेंगे, लेकिन विपक्ष की मांग है कि उद्घाटन राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू के हाथों से कराया जाना चाहिए। इस पर 19 विपक्षी दलों ने उद्घाटन समारोह का बहिष्कार करने का फैसला किया है।

सरकार पर राष्ट्रपति मुर्मू को पूरी तरह दरकिनार करने का आरोप लगाते हुए 19 दलों ने एक बयान में कहा, “जब लोकतंत्र की आत्मा को छीन लिया गया है तो उन्हें नए भवन में कोई महत्व नजर नहीं आता।” उन्होंने एक संयुक्त बयान में यह भी आरोप लगाया कि राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को उद्घाटन समारोह से दरकिनार करना और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा संसद के नए भवन का उद्घाटन करने का फैसला लोकतंत्र पर सीधा हमला है।