करोड़ों रुपए के सारदा चिटफंड घोटाले के सिलसिले में सीबीआइ के राज्य के परिवहन मंत्री मदन मित्र को गिरफ्तार किए जाने के लिए पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री व तृणमूल कांग्रेस प्रमुख ममता बनर्जी ने भाजपा व केंद्र पर हमला बोलते हुए कहा कि संसद में पार्टी के सांसद इसके खिलाफ आवाज उठाएंगे। शनिवार को धर्मतला में पार्टी की ओर से आयोजित सभा में ममता ने कहा-सीबीआइ ने अपनी पूरी विश्वसनीयता खो दी है। यह संस्था अब ‘हिज मास्टर्स वॉयस’ हो गई है। उन्होंने कहा कि सीबीआइ एक राजनीतिक हथियार बन गई है। अब समय आ गया है कि इस संस्था को बंद कर देना चाहिए। ममता ने कहा कि सोमवार से भाजपा की राजनीतिक बदले की भावना के खिलाफ तृणमूल के सांसद संसद में आवाज बुलंद करेंगे।

ममता ने इस मौके पर केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार को चेतावनी के लहजे में कहा-आप अपनी सीमा में रहें नहीं तो परिणाम भुगतने के लिए तैयार रहें। बंगाल की जनता अपमान को बर्दाश्त नहीं करेगी। ममता ने कहा कि सत्ता में रहने के कारण भाजपा घमंडी हो गई है।

मालूम हो कि तृणमूल कांग्रेस ने यह सभा मदन मित्र की गिरफ्तारी के खिलाफ आयोजित की थी। इसमें मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के हिस्सा लेने पर विरोधी दलों ने तृणमूल प्रमुख की कड़ी आलोचना की है। विरोधी दल राज्य की मुख्यमंत्री द्वारा सभा में हिस्सा लेने के औचित्य पर भी सवाल उठा रहे हैं। इसी प्रसंग में ममता ने कहा-मैं यहां राज्य की मुख्यमंत्री की हैसियत से नहीं, बल्कि एक आम नागरिक की हैसियत से आई हूं। मैं नहीं मानती कि मदन मित्र चोर या डकैत हैं। ममता ने कहा कि मदन के परिवार की स्थिति इतनी दयनीय नहीं है कि उसे परिवार चलाने के लिए दूसरों (सारदा समूह) से पैसे लेने की जरूरत पड़ेगी।

एक सभा में सारदा समूह के चेयरमैन सुदीप्त सेन के साथ मदन मित्र की तस्वीर के प्रसंग में ममता ने कहा कि अगर एक तस्वीर आपराधिक साजिश का सबूत है तो फिर सहारा घोटाले के लिए प्रधानमंत्री को गिरफ्तार किया जाना चाहिए। ममता ने दावा किया कि ऐसी कई तस्वीरें हैं, जिसमें माकपा के नेता चिटफंड कंपनी के मालिकों के साथ बैठे हैं। इसी तरह सहारा प्रमुख के साथ प्रधानमंत्री की तस्वीर है। ऐसे में क्या मैं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भी सीबीआइ को गिरफ्तार करने की मांग करूं।

ममता ने कहा कि मदन मित्र पार्टी के एक अच्छे संगठनकर्ता हैं। साथ ही वे राज्य के खेल व परिवहन मंत्री भी हैं। ममता ने आरोप लगाया कि सीबीआइ ने शारदा घोटाले के सिलसिले में मदन मित्र को गवाह के तौर पर पूछताछ के लिए बुलाया और घंटों बाद उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया। मुख्यमंत्री ने यह भी आरोप लगाया कि मदन मित्र को दिल्ली से फोन आने के बाद गिरफ्तार किया गया।

ममता ने कहा-गिरफ्तारी के बाद मदन मित्र का बेटा उनसे मिलने गया और मदन ने उसे बताया कि सीबीआइ के अधिकारियों ने उससे पूछा कि उसने किस स्कूल व कालेज में पढ़ाई-लिखाई की है। उसके बाद ही दिल्ली से एक फोन कॉल आया और मदन को गिरप्तार कर लिया गया। ममता ने कहा कि मदन गवाह के तौर पर सीबीआइ से मिलने गए और उसे गिरफ्तार किया गया तो फिर कल से तो कोई भी सीबीआइ के सामने गवाह के तौर पर उपस्थित ही नहीं होगा।

 

मित्र 16 तक सीबीआइ हिरासत में

सारदा चिटफंड घोटाले में सीबीआइ के गिरफ्तार किए गए राज्य के खेल व परिवहन मंत्री मदन मित्र को शनिवार को कोर्ट में पेश किया गया। कोर्ट ने मित्र को 16 दिसंबर तक सीबीआइ हिरासत में भेज दिया। कोर्ट परिसर के बाहर तृणमूल कार्यकर्ताओं ने विरोध-प्रदर्शन किया। ममता ने कहा कि मदन मित्र परिवहन मंत्री रहेंगे। ममता ने भाजपा अध्यक्ष अमित शाह पर सीधा निशाना साधते हुए कहा कि उन्होंने चेतावनी दी थी कि वे मदन मित्र को 2014 में, मुकुल राय को 2015 में और ममता बनर्जी को 2016 में गिरफ्तार कर लेंगे।

कांग्रेस का उसकी गलतियों की वजह से सफाया हो गया। माकपा सत्ता से अहंकार की वजह से बाहर हो गई थी और भाजपा का भी यही हाल होगा। हमने सत्ता में आने के बाद माकपा के एक भी नेता को गिरफ्तार नहीं किया।