रालोद अब एनडीए का हिस्सा होगी, इसका ऐलान महज औपचारिकता है। चौधरी चरण सिंह को भारत रत्न के ऐलान के बाद रालोद चीफ जयंत चौधरी ने खुलकर पीएम नरेंद्र मोदी की तारीफ की और गठबंधन को लेकर मीडिया द्वारा किए गए सवाल पर कहा, “अब मैं किस मुंह से आपके सवालों का इनकार करूं..”

द इंडियन एक्सप्रेस को सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, बीजेपी ने रालोद को लोकसभा की चार सीटें, केंद्र सरकार में एक मंत्रालय और योगी सरकार में दो मंत्री पद देने का ऑफर किया है। रालोद के नेता ने इंडियन एक्सप्रेस ने कहा कि चीजें तकरीबन फाइनल हो चुकी हैं। औपचारिक ऐलान एक या दो दिन में हो जाएगा।

रालोद के एक नेता द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार, बीजेपी जयंत चौधरी को लोकसभा की चार सीटें, केंद्र सरकार में एक मंत्री पद और यूपी की योगी सरकार में दो पद दे रही है। कुछ सीटों पर कुछ मुद्दे हैं लेकिन उन्हें सुलझा लिया जाएगा। बीजेपी हमें मुजफ्फरनगर सीट देने से इनकार कर रही है। केंद्रीय मंत्री संजीव बालियान इस सीट पर दो बार चुनाव जीत चुके हैं।

बीजेपी से जुड़े सूत्रों ने भी दोनों दलों के बीच चल रही बातचीत की पुष्टि की है। दिल्ली में बीजेपी के सीनियर नेता ने बताया कि भगवा खेमा रालोद को बागपत, मथुरा, हाथरस और अमरोहा का ऑफर कर रहा है। बीजेपी ने रालोद को स्पष्ट कर दिया है कि वो मुजफ्फरनगर और कैराना सीटें नहीं देगी। हम उन्हें बिजनौर और सहारनपुर भी ऑफर कर रहे हैं।

सपा ने कौनसी सीटें रालोद को दीं थी?

सपा की तरफ से रालोद को सात सीटें दी गईं थीं। सपा सूत्रों ने बताया कि इनमें बागपत, कैराना, मथुरा, हाथरस और फतेहपुर सीकरी शामिल हैं। इसके अलावा मुजफ्फरनगर, मेरठ, बिजनौर और अमरोहा पर चर्चा जारी है। सपा रालोद की कुछ सीटों पर अपने प्रत्याशी उतारना चाह रही है। उनमें एक सीट कैराना की है, जहां सपा विधायक नाहिद हसन की बहन इकरा हसन को सपा चुनाव लड़ाना चाहती है।

2019  में सपा – बसपा संग चुनाव लड़ी थी रालोद

रालोद पिछले लोकसभा चुनाव में सपा – बसपा के साथ थी। सपा ने रालोद को तीन सीटें दी थीं लेकिन इन तीनों ही सीटों पर रालोद को हार का सामना करना पड़ा। मुजफ्फरनगर से अजित सिंह, बागपत से जयंत चौधरी और मथुरा लोकसभा सीट से कुंवर नरेंद्र सिंह को हार का सामना करना पड़ा। विधानसभा चुनाव 2022 में रालोद ने 33 सीटों पर चुनाव लड़ा और उसे 9 पर जीत हासिल हुई। यह चुनाव उसने सपा के साथ गठबंधन में लड़ा।