India-Pakistan Conflict: आतंकवाद के खिलाफ इजराइल में भारत के राजदूत जेपी सिंह ने जोर देकर कहा कि पाकिस्तान के खिलाफ भारत का ऑपरेशन सिंदूर ‘रोका गया’ है, ‘खत्म नहीं हुआ’ है। उन्होंने मांग की कि इस्लामाबाद को प्रमुख आतंकवादियों हाफिज सईद, साजिद मीर और जकीउर रहमान लखवी को सौंप देना चाहिए, जैसा कि अमेरिका ने 26/11 मुंबई आतंकवादी हमले के मास्टरमाइंड तहव्वुर हुसैन राणा के साथ किया था।

सोमवार को इजरायली टीवी चैनल i24 को दिए गए इंटरव्यू में सिंह ने आतंकवाद के खिलाफ वैश्विक गठबंधन बनाने का आह्वान किया और तहव्वुर राणा के अमेरिका द्वारा प्रत्यर्पण के उदाहरण के साथ इसकी तुलना की।

ऑपरेशन सिंदूर (Operation Sindoor) से पहले की घटनाओं को याद करते हुए सिंह ने 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए हमले का जिक्र किया। जिसमें 26 नागरिकों को उनके धर्म के आधार पर निशाना बनाकर मार दिया गया था। उन्होंने कहा कि भारत की प्रतिक्रिया खास तौर पर पाकिस्तान में मौजूद आतंकवादी समूहों और उनके बुनियादी ढांचे पर केंद्रित थी।

सिंह ने कहा कि आतंकवादियों ने लोगों को उनके धर्म के आधार पर मारा। भारत का अभियान आतंकवादी समूहों और उनके बुनियादी ढांचे के खिलाफ था, जबकि पाकिस्तान ने भारत के सैन्य प्रतिष्ठानों पर हमला किया।

जब उनसे पूछा गया कि क्या युद्ध विराम संघर्ष के अंत का संकेत है, तो सिंह ने जवाब दिया कि ऑपरेशन सिंदूर को केवल रोका गया है। उन्होंने कहा कि युद्ध विराम अभी भी जारी है, लेकिन हमने यह स्पष्ट कर दिया है कि ऑपरेशन सिंदूर रोका गया है, यह अभी खत्म नहीं हुआ है। उन्होंने कहा कि जहां कहीं भी आतंकवादी हैं, हमें उन आतंकवादियों को मारना है और हमें उनके बुनियादी ढांचे को नष्ट करना है।

सिंह ने 10 मई को पाकिस्तान के नूर खान बेस पर भारतीय हवाई हमले को गेम चेंजर बताया। उन्होंने दावा किया कि इस हमले से पाकिस्तान में दहशत फैल गई और इसके सैन्य संचालन महानिदेशक ने भारत से युद्ध विराम की मांग की।

सिंधु जल संधि के मुद्दे पर सिंह ने कहा कि भारत सीमा पार से लगातार आतंकवादी हमलों का सामना करते हुए सद्भावना और मित्रता पर आधारित संधि को अब और कायम नहीं रख सकता। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बयान का जिक्र करते हुए का कि खून और पानी एक साथ नहीं बह सकते।

सिंह ने कहा ने कहा कि आतंकवाद अवश्य रुकना चाहिए। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि कोई भी संधि तभी कारगर हो सकती है जब पाकिस्तान आतंकवाद को अपना समर्थन देना बंद कर दे। उन्होंने कहा कि जबकि IWT स्थगित है, एक और IWT चालू है – ऑपरेशन सिंदूर भारत का आतंकवाद के खिलाफ युद्ध है।

सिंह ने लश्कर-ए-तैयबा और जैश-ए-मोहम्मद को भारत में आतंकी हमलों के पीछे दो मुख्य समूहों के रूप में नामित किया और कहा कि उनके नेता पाकिस्तान में खुलेआम घूम रहे हैं। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान केवल उन प्रमुख व्यक्तियों को सौंपकर तनाव को कम कर सकता है जिनकी भारत लंबे समय से मांग कर रहा है।

उन्होंने कहा कि उन्हें एक बहुत ही सरल काम करने की जरूरत है – जब प्रस्तावना में सद्भावना और मित्रता शामिल है, तो उन्हें बस इन आतंकवादियों को हमें सौंप देना चाहिए।

अमेरिका का जिक्र करते हुए सिंह ने सवाल किया कि पाकिस्तान भी यही रास्ता क्यों नहीं अपना सकता। उन्होंने कहा कि जब अमेरिका इन दोषियों को सौंप सकता है, तो पाकिस्तान क्यों नहीं सौंप सकता? उन्हें बस हाफिज सईद, लखवी, साजिद मीर को सौंपना है और बात खत्म हो जाएगी।

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सिंह ने पहलगाम हमले की जांच करने के पाकिस्तान के प्रस्ताव को ध्यान भटकाने की रणनीति बताकर खारिज कर दिया। उन्होंने सवाल उठाया कि मुंबई, पठानकोट और पुलवामा हमलों की पिछली जांच का क्या नतीजा निकला। उन्होंने पूछा कि हमने उन्हें लगातार डोजियर दिए हैं – हमने उन्हें तकनीकी जानकारी दी है। अमेरिका ने उनके साथ सबूत साझा किए हैं। सब कुछ मौजूद है, लेकिन उन्होंने क्या किया है?

उन्होंने कहा कि मुंबई हमले के साजिशकर्ता और उसे अंजाम देने वाले के तौर पर नामजद होने के बावजूद लखवी और हाफिज सईद अभी भी फरार हैं। उन्होंने कहा कि इसलिए हम उन पर विश्वास नहीं कर सकते।

आतंकवाद को वैश्विक खतरा बताते हुए सिंह ने प्रभावित देशों के बीच गहन सहयोग का आह्वान किया। अंतरराष्ट्रीय स्तर पर, भारत, इजरायल और कई अन्य देशों सहित वे सभी देश जो आतंकवाद का दंश झेल रहे हैं, हमें अपनी कूटनीतिक पहुंच का विस्तार करने की जरूरत है, हमें सहयोग करने की जरूरत है, हमें आतंकवाद के खिलाफ और सबसे महत्वपूर्ण रूप से इन आतंकवादी समूहों के समर्थकों के खिलाफ गठबंधन बनाने की जरूरत है।

सिंह ने भारत की मजबूत स्थिति को बताते हुए कहा कि हमारे प्रधानमंत्री ने यह बहुत स्पष्ट कर दिया है कि आतंकवाद के प्रति हमारी जीरो टॉलरेंस की नीति है। हम सीमापार आतंकवाद को स्वीकार नहीं कर सकते। इसी बीच, भारत-पाकिस्तान के बीच बने तनाव के कारण सात मई से अमृतसर के अटारी बॉर्डर सहित फाजिल्का और फिरोजपुर में बंद की गई रिट्रीट सेरेमनी दोबारा शुरू होने जा रही है। फाजिल्का में यह मंगलवार से शुरू हो रही है, जबकि अटारी सीमा पर इसकी तैयारियों के आदेश दे दिए गए हैं, लेकिन यह कब से शुरू होगी, इसके बारे में अभी कोई स्पष्ट संदेश नहीं दिया गया है। वहीं, बीजेपी ने राहुल गांधी की तुलना पाकिस्तान के आर्मी चीफ असीम मुनीर से की है। पढ़ें पूरी खबर…