बॉम्बे हाईकोर्ट की नागपुर बेंच ने जानी मानी लेखिका अरुंधति राय के खिलाफ चल रहे आपराधिक अवमानना के केस की सुनवाई को चार हफ्तों के लिए टाल दिया है। अरुंधति राय इस सुनवाई के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटा चुकी हैं जिस कारम हाई कोर्ट ने चार हफ्तों के लिए इस केस की सुनवाई को टाल दिया है।
जस्टिस भूषण गवई और जस्टिस प्रदीप देशमुख की दो जजों की बेंच ने सोमवार को राय के वकीलों के दलील सुनने के बाद कहा कि राय का तरफ से एक स्पेशल अर्जी सुप्रीम कोर्ट में दायर की गई है जिसे देखते हाई कोर्ट को इस केस के सिलसिले में सुप्रीम कोर्ट के निर्णय का इंतजार करना चाहिए।
अरुंधति राय के खिलाफ अवमानना का नोटिस जस्टिस अरुण चौधरी ने पिछले साल दिसंबर में जारी किया था। राय ने एक सप्ताहिक पत्रिका में कथित नक्सल समर्थक दिल्ली विश्वविद्यालय के प्रोफेसर जीएन साईबाबा के समर्थन में अपने विचार लिखे थे साथ ही उनकी बेल की अर्जी खारिज होने का विरोध भी किया था। कोर्ट ने राय के लेख के प्रथमदृष्टया कानून के क्षेत्र में दखलअंदाजी माना था।