BJP Minister Comments On Col Sofiya Qureshi: मध्य प्रदेश हाई कोर्ट ने गुरुवार को भारतीय जनता पार्टी के मंत्री कुंवर विजय शाह के खिलाफ दर्ज एफआईआर में खामियों को लेकर राज्य और पुलिस दोनों को फटकार लगाई। जस्टिस श्रीधरन ने कहा, ‘मामले की प्रकृति और जिस तरह से एफआईआर दर्ज की गई है, उससे इस अदालत को भरोसा नहीं होता। पुलिस को कानून के अनुसार निष्पक्ष जांच करनी चाहिए।’
बार एंड बेंच की रिपोर्ट के मुताबिक, जस्टिस श्रीधरन ने टिप्पणी करते हुए कहा, ‘क्या आपने एफआईआर पढ़ी है? इसे कैसे तैयार किया गया है? इसमें कोई तत्व नहीं है। इसे इस तरह से तैयार किया गया है कि इसे रद्द किया जा सके। एफआईआर में तत्व होना चाहिए। आरोप सामने आने चाहिए। एफआईआर को रद्द कर दिया जाना चाहिए क्योंकि इसमें तत्व नहीं बताए गए हैं। इसमें अपराध क्या है, इसकी कोई जानकारी नहीं है, सिवाय इसके कि आदेश की तारीख इतनी है।’
कोर्ट की निगरानी में होगी जांच
कोर्ट ने अपने आदेश में कहा, ‘मामले की प्रकृति और जिस तरह से एफआईआर दर्ज की गई है, उससे इस अदालत को भरोसा नहीं होता। पुलिस को कानून के अनुसार निष्पक्ष जांच करनी चाहिए। इन हालात में कोर्ट यह सुनिश्चित करने के लिए बाध्य है कि वह जांच एजेंसी की स्वतंत्रता में दखल किए बिना जांच की निगरानी करे। लेकिन केवल निगरानी की सीमा तक ही।’ अब मामले की सुनवाई छुट्टियों के बाद में होगी।
कर्नल सोफिया कुरैशी पर विवादित बयान देने वाले विजय शाह के खिलाफ दर्ज हुई FIR
हाई कोर्ट ने डीजीपी को एफआईआर दर्ज करने के दिए थे आदेश
कोर्ट ने बुधवार को डीजीपी को शाह के खिलाफ तत्काल एफआईआर दर्ज करने का निर्देश दिया था और चेतावनी दी थी कि यदि इस निर्देश का पालन नहीं किया गया तो न्यायालय की अवमानना की कार्यवाही शुरू की जाएगी। कोर्ट ने कहा था कि शाह ने कर्नल कुरैशी को कथित तौर पर आतंकवादियों की बहन कहकर गटर की भाषा का इस्तेमाल किया था।
सुप्रीम कोर्ट में भी हुई मामले की सुनवाई
इस बीच शाह ने हाईकोर्ट के 14 मई के आदेश को चुनौती देते हुए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया। सुप्रीम कोर्ट ने आज उन्हें कोई अंतरिम राहत देने या उनके खिलाफ दर्ज एफआईआर पर रोक लगाने से इनकार कर दिया, लेकिन कहा कि वह कल मामले की सुनवाई करेगी। भारत के मुख्य न्यायाधीश बीआर गवई ने कहा, ‘संवैधानिक पद पर बैठे ऐसे व्यक्ति को जिम्मेदार होना चाहिए। जब यह देश ऐसी स्थिति से गुजर रहा है, तो उसे पता होना चाहिए कि वह क्या कह रहा है। सिर्फ इसलिए कि आप एक मंत्री हैं। हम इस पर कल सुनवाई करेंगे।’ पूरी खबर पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें…