कश्मीर मुद्दे के समाधान के लिए गंभीर राजनीतिक पहल की मांग करते हुए नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला ने शुक्रवार को गृहमंत्री राजनाथ सिंह से कहा कि निरंतर आम नागरिकों के मारे जाने से जम्मू कश्मीर के उथल-पुथल और अस्थिरता के खतरनाक कगार पर पहुंचने का खतरा है। अब्दुल्ला सिंह से मिले और उन्होंने उन्हें घाटी की गंभीर स्थिति के बारे में बताया। इस भेंट के बाद अब्दुल्ला ने कहा, ‘‘आम नागरिकों के मारे जाने में वृद्धि अस्वीकार्य है और इससे घाटी के उथल-पुथल तथा और ही अस्थिरता के खतरनाक कगार पर पहुंच जाने का जोखिम है। मैं केंद्र सरकार से कश्मीर में निर्दोष बेशकीमती जान जाने से रोकने के निर्णायक उपाय करने, उनमें अलग-थलग तथा मोहभंग की भावना को रोकने के लिए टिकाऊ, प्रभावी एवं गंभीर राजनीतिक पहल करने की अपील करता हूं।’’

घाटी में आम नागिरिकों की मौत तथा बिगड़ती स्थिति पर चिंता प्रकट करते हुए श्रीनगर के सांसद ने कहा कि आतंकवाद से जुड़ रहे स्थानीय युवकों की संख्या 1990 के दशक के बाद अप्रत्याशित है और यह प्रवृति दिनों दिन बढ़ती ही जा रही है। उन्होंने कहा, ‘‘स्थिति से निबटने के लिए विशुद्ध सैन्य या अभियानात्मक पहल व्यर्थ होगी। यह अहम वक्त है और ऐसे में केंद्र और राज्य सरकारों दोनों के लिए राजनीतिक पहल जरूरी है।’’

उन्होंने कहा कि सुरक्षाबलों में हताहत होने वालों की बढ़ती संख्या भी दुख और चिंता का विषय है और वह उन परिवारों के साथ खड़े हैं जिन्होंने अपनों को खोया है। पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि घाटी में विद्यार्थियों का हाल का प्रदर्शन उनके व्यापक गुस्से और असंतोष का प्रकटीकरण है और इसे समझने की जरूरत है।

दूसरी तरफ, जम्मू कश्मीर की मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत जम्मू-कश्मीर के लोगों का भरोसा, दिल और दिमाग जीत सकता है। महबूबा ने भाजपा को उसके 38 वें स्थापना दिवस पर बधाई देते हुए यह टिप्पणी की। उन्होंने एक ट्वीट कर कहा, ‘‘भाजपा को उसके स्थापना दिवस पर हार्दिक बधाई। मैं उम्मीद करती हूं कि नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व में भारत जम्मू कश्मीर के लोगों का भरोसा, दिल और दिमाग जीतकर क्षेत्र के नैतिक नेतृत्व का सही मायनों में प्रदर्शन कर सकता है।’’