गुजरात दंगों के मामले को पूरी तरह अप्रासंगिक करार देते हुए भाजपा ने कांग्रेस पर अपने राजनीतिक अस्तित्व के लिए इसे उठाने का आरोप लगाया और मांग की कि विपक्षी पार्टी को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ‘ईमानदारी’ पर सवाल खड़ा करने के लिए उनसे माफी मांगनी चाहिए।
कांग्रेस ने दरअसल पूर्व रॉ प्रमुख ए एस दुलाट के दावों के मद्देनजर मांग की है कि मोदी को अटल बिहारी वाजपेयी के शब्दों का सम्मान करना चाहिए और देश से माफी मांगनी चाहिए। इस सबके मद्देनजर भाजपा की प्रतिक्रिया आई है।
हालांकि भाजपा ने कहा कि हर अदालत ने मोदी की भूमिका की जांच की थी और उनके खिलाफ कुछ भी नहीं मिला। भाजपा ने कहा कि जब विपक्षी पार्टी के पास कहने के लिए और कुछ नहीं होता तो वह 2002 के दंगों के मुद्दे को उठाती है।
भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता एम जे अकबर ने कहा, ‘‘मेरा मानना है कि यह समय और जो सवाल उठाया गया है, वह पूरी तरह अप्रासंगिक है। कांग्रेस ने प्रशासन के हर तरीके और हर स्तर का इस्तेमाल किया और उच्चतम न्यायालय समेत सभी अदालतों ने भी 10 साल या इससे ज्यादा समय तक पूरी तरह पड़ताल की है….और मौजूदा प्रधानमंत्री के खिलाफ कुछ नहीं मिला।’’
उन्होंने कहा, ‘‘वास्तव में तो कांग्रेस को उनकी ईमानदारी पर सवाल खड़ा करने के लिए माफी मांगनी चाहिए।’’
अकबर ने कहा कि अगर कांग्रेस शासनकाल में हुए दंगों की पूरी तरह जांच हुई होती तो पार्टी के अधिकतर नेता अपने घरों में नहीं होते।
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उन्होंने आरोप लगाया, ‘‘मुझे ऐसा लगता है कि अगर कांग्रेस के शासनकाल में हुए दंगों के मामले में जिम्मेदार लोगों के खिलाफ जांच का सौंवा हिस्सा भी हुआ होता तो कई सारे वीआईपी अपने घरों में नहीं होते।’’
सत्तारूढ़ दल ने 1999 में आईसी-814 विमान के अपहरण के मामले में कथित गड़बड़ी के बारे में भी दुलाट के दावे को खारिज कर दिया।
अकबर ने कहा कि कांग्रेस अपनी सुविधा के हिसाब से कंधार कांड को याद करती है और अपहृत भारतीयों को बचाने का फैसला सभी से सलाह के बाद लिया गया था।
उन्होंने कहा, ‘‘यह राष्ट्रीय संकट था। वाजपेयी सरकार के समय सभी पार्टियों के साथ बातचीत की गयी।’’
भाजपा के राष्ट्रीय सचिव श्रीकांत शर्मा ने भी कांग्रेस पर अपने राजनीतिक अस्तित्व के लिए ‘समाप्त मुद्दे’ को उठाने का आरोप लगाया और कहा कि कांग्रेस ने भोपाल गैस त्रासदी में हजारों मौतों के लिए जिम्मेदार रहे वारेन एंडरसन को खुला घूमने दिया था।
उन्होंने कहा, ‘‘कांग्रेस के पास मुद्दे नहीं हैं और वह मरे हुए मुद्दों को उठा रही है।’’
अकबर ने कहा कि आईसी-184 के मुद्दे पर सभी को संज्ञान में रखा गया था। उन्होंने कहा, ‘‘चूंकि कांग्रेस ने इसे उठाया है, इसलिए मैं एक सवाल का जवाब देने की चुनौती उसे देता हूं कि क्या उन करीब 200 भारतीयों को मरने देना चाहिए था। कृपया उनसे यह सवाल पूछा जाए और जवाब मांगा जाए।’’
सैयद सलाउद्दीन के मुद्दे पर उन्होंने फारूक अब्दुल्ला के नेतृत्व वाली जम्मू कश्मीर की तत्कालीन सरकार को जिम्मेदार ठहराते हुए कहा कि फैसला उसने लिया और सवाल उससे पूछा जाना चाहिए।
उन्होंने कहा, ‘‘हम बहुत स्पष्ट तरीके से बिना किसी संकोच के कहना चाहते हैं कि प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की सरकार को इस फैसले से कोई लेना देना नहीं था।’’
भाजपा प्रवक्ता ने कहा, ‘‘अगर ऐसा फैसला लिया गया तो डॉ फारूक अब्दुल्ला ने लिया और आप डॉ फारच्च्क अब्दुल्ला से पूछ सकते हैं जो कांग्रेस के बड़े और खास सहयोगी हैं।’’
कांग्रेस ने आज दुलाट के दावों के सहारे गोधरा कांड के बाद गुजरात में भड़के दंगों के मुद्दे को उठाते हुए मोदी से माफी की मांग की। दंगों के समय मोदी गुजरात के मुख्यमंत्री थे।