CBI के विशेष निदेशक राकेश अस्थाना की मुश्किलें कम होने के बजाय बढ़ती ही जा रही हैं। छुट्टी पर भेजे गए अस्थाना के खिलाफ दर्ज एफआईआर की जांच से जुड़े जांच एजेंसी के एक और वरिष्ठ अधिकारी ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। दरअसल, भ्रष्टाचार के कथित मामले को लेकर अस्थाना के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है। इसमें जांच भी चल रही है। आईपीएस अधिकारी मनीष कुमार सिन्हा भी इस जांच दल के हिस्सा थे। अब मनीष कुमार का तबादला नागपुर कर दिया गया है। उन्होंने शीर्ष अदालत में अर्जी दाखिल कर ट्रांसफर के आदेश को चुनौती दी है। मुख्य न्यायाधीश जस्टिस रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली पीठ के समक्ष दायर अर्जी में मामले की मंगलवार (20 नवंबर) को अविलंब सुनवाई की गुहार लगाई गई है।
बता दें कि सीजेआई की अध्यक्षता वाली पीठ सीबीआई निदेशक आलोक वर्मा की याचिका पर मंगलवार को ही सुनवाई करने वाली है। आलोक वर्मा ने अपनी अर्जी में सरकार के उस फैसले को चुनौती दी है, जिसमें उन्हें कामकाज करने से रोकते हुए छुट्टी पर भेज दिया गया है। डीआईजी मनीष कुमार सिन्हा ने सुप्रीम कोर्ट से सीबीआई निदेशक की याचिका के साथ ही अपनी अर्जी पर भी सुनवाई करने का आग्रह किया है।
IPS ने लगाए गंभीर आरोप: IPS अधिकारी मनीष कुमार सिन्हा ने सुप्रीम कोर्ट में दाखिल अर्जी में गंभीर आरोप लगाए हैं। उनका कहना है कि वह सीबीआई के विशेष निदेशक राकेश अस्थाना के खिलाफ दायर एफआईआर की जांच करने वाली टीम में शामिल रहे हैं। इसके चलते ही उनका नागपुर तबादला कर दिया गया। न्यूज एजेंसी ‘पीटीआई’ के अनुसार, सीबीआई में डीआईजी के पद पर तैनात मनीष कुमार सिन्हा ने सुप्रीम कोर्ट से ट्रांसफर ऑर्डर को निरस्त करने का अनुरोध किया है। मालूम हो कि सीबीआई निदेशक आलोक वर्मा और विशेष निदेशक राकेश अस्थाना के बीच जारी विवाद के तूल पकड़ने के बाद सरकार ने दोनों शीर्ष अधिकारियों को तत्काल प्रभाव से छुट्टी पर भेज दिया था। साथ ही सभी तरह के दायित्वों को निभाने से भी रोक दिया था। दोनों अफसर पहले ही सरकार के आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दे चुके हैं। राकेश अस्थाना मीट एक्सपोर्टर मोईन कुरैशी की जांच कर रहे थे। सीबआई ने अपने ही अफसर पर मामले के एक आरोपी से घूस लेने का आरोप लगाते हुए एफआईआर दर्ज की है। इससे पहले अस्थाना ने पूर्व रेल मंत्री लालू प्रसाद यादव से जुड़े IRCTC होटल आवंटन मामले में आलोक वर्मा द्वारा हस्तक्षेप करने का आरोप लगाया था। बता दें कि विवाद के सामने आने के बाद से सीबीआई के कई अफसरों का तबादला किया जा चुका है।

