Sunil Bansal: भाजपा उत्तर प्रदेश में 2024 लोकसभा चुनाव के मद्देनजर अभी से पूरी तैयारी में जुट गई है। इसके चलते भाजपा ने यूपी संगठन में बड़ा उलटफेर किया है। बता दें कि पार्टी के संगठन मंत्री रहे सुनील बंसल को भाजपा ने राष्ट्रीय महासचिव बनाया है। सुनील बंसल की जगह झारखंड के संगठन मंत्री रहे धर्मपाल को यूपी भाजपा का नया संगठन मंत्री बनाया गया है।

बता दें कि बंसल की तरह, धर्मपाल सिंह भी आरएसएस से जुड़े व्यक्ति हैं। जानकारी है कि भाजपा महासचिव (संगठन) आरएसएस द्वारा नियुक्त किए गए हैं। वहीं झारखंड में धर्मपाल की जगह करमवीर सिंह लेंगे। गौरतलब है कि यूपी भाजपा संगठन में पहले संयुक्त महासचिव (संगठन) और तत्कालीन महासचिव (संगठन) के रूप में सुनील बंसल के आठ साल के कार्यकाल में भाजपा को मजबूती से आगे बढ़ते देखा गया।

2014 लोकसभा चुनाव से पहले बंसल के यूपी आने के बाद बीजेपी ने यूपी में 2014 और 2019 लोकसभा, और 2017 और 2022 विधानसभा चुनावों में अच्छा प्रदर्शन किया है।

लंबे समय तक यूपी में संगठन स्तर पर काम करने वाले सुनील बंसल को अब पश्चिम बंगाल, ओडिशा और तेलंगाना के प्रभारी बनाया गया है। दरअसल इन राज्यों में भाजपा खुद के लिए बेहतर स्थिति की तलाश में हैं। ऐसे में संगठनात्मक कार्यों में सफल माने जाने वाले सुनील बंसल को इन राज्यों की जिम्मेदारी दी गई है।

बंसल के लिए बंगाल में चुनौतियां काफी होंगी। कारोबारी परिवार से ताल्लुक रखने वाले बंसल का कनेक्शन बंगाल से हैं। बंसल को बंगाल में कैलाश विजयवर्गीय की जगह भेजा गया है। वहीं वो तेलंगाना में तरुण चुग और ओडिशा में डी पुरंदेश्वरी की जगह लेंगे।

बंसल को संगठनात्मक स्तर पर अमित शाह का करीबी माना जाता है। उन्होंने संयुक्त महासचिव (संगठन) और फिर महासचिव (संगठन) के रूप में यूपी में आठ साल पार्टी को मजबूत किया। उनके कार्यकाल में भाजपा को उत्तर प्रदेश में मजबूती से आगे बढ़ते देखा गया। हालांकि यह भी माना जाता है कि शाह के करीबी बंसल के यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ अच्छे संबंध नहीं थे।

द इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक 2018 में खबरें ऐसी भी थीं कि बंसल को भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष के रूप में राजस्थान में भेजा जा रहा था लेकिन राज्य नेतृत्व ने इसे रोक दिया था। बता दें कि 2014 में बंसल को यूपी में बीजेपी के संयुक्त महासचिव के रूप में लाया गया था, उससे पहले वो पंजाब में एबीवीपी के संगठन मंत्री थे।

बंसल को जब यूपी भेजा गया था, तो तत्कालीन भाजपा प्रदेश अध्यक्ष लक्ष्मीकांत वाजपेयी और तत्कालीन महासचिव (संगठन) राकेश जैन के बीच संबंध अच्छे नहीं बताए जा रहे थे। अंदरूनी कलह के बीच बंसल को यूपी लाया गया था।

यूपी में धर्मपाल सिंह को अहम जिम्मेदारी:

धर्मपाल सिंह सैनी (एक ओबीसी समूह) हैं। वो पश्चिमी यूपी के बिजनौर जिले की नगीना तहसील से आते हैं। उन्हें यूपी लाने की एक अहम वजह यह भी है कि यूपी के बीते विधानसभा चुनावों में समाजवादी पार्टी ने जाट लैंड में बीजेपी के खिलाफ अच्छी लड़ाई लड़ी है। ऐसे में बीजेपी गैर-यादव ओबीसी को अपने पक्ष में करने की कोशिश में है।