Janata Dal (U) से निष्कासित किए जाने के बाद रविवार को श्याम रजक को बिहार के उद्योग मंत्री पद से हटा दिया गया। कहा जा रहा है कि वह सीएम नीतीश कुमार के नेतृत्व वाली JDU से बगावत कर इस्तीफा देने वाले थे, पर इससे पहले ही उन्हें पार्टी ने बाहर का रास्ता दिखा दिया।

जेडीयू प्रदेश महासचिव डॉ.नवीन कुमार आर्य की ओर से जारी किए गए बयान के अनुसार, “जेडीयू के प्रदेशाध्यक्ष सह सांसद वशिष्ठ नारायण सिंह ने 188-फुलवारी (अ.ज) विधानसभा क्षेत्र के विधायक श्याम रजक को पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से निलंबित करते हुए दल से निष्कासित कर दिया है।”

रजक के निष्कासन पर जनता दल (यूनाइटेड) के प्रवक्ता राजीव रंजन ने कहा है- उन पर दल विरोधी गतिविधियों में शामिल होने का आरोप था। यह अनुशासनहीनता है। पार्टी से बड़ा कोई नहीं होता। पार्टी का निर्णय स्वागत योग्य है।

रजक किसी दौर में RJD चीफ लालू प्रसाद यादव के करीबियों में शुमार थे। उन्हें तत्कालीन राबड़ी सरकार में मंत्री पद भी मिला था। कहा जाता कि नीतीश की पार्टी में वह अपनी अनदेखी को लेकर खासा उपेक्षित रहते थे।

RJD ने भी 3 MLA को किया निष्कासित: सूबे में मुख्य विपक्षी दल राजद ने पार्टी विरोधी गतिविधियों के लिए अपने तीन विधायकों को पार्टी से छह साल के लिए निष्कासित कर दिया है। राजद के प्रदेश महासचिव आलोक मेहता ने प्रेम चौधरी, महेश्वर यादव और फराज फातमी को निष्कासित किए जाने की घोषणा की। विभिन्न मौकों पर तीनों विधायकों ने जदयू का समर्थन किया था और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की तारीफ की थी।

राज्य की 243 सदस्यीय विधानसभा में राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के 80 विधायक हैं और अक्टूबर-नवंबर में होने वाले विधानसभा चुनाव के पहले इन तीनों विधायकों को निष्कासित किया गया है। मेहता ने संवाददाताओं को बताया, ‘‘तीनों विधायक पार्टी विरोधी गतिविधियों में शामिल थे और यही कारण है कि उन्हें छह साल के लिए राजद से निष्कासित किया गया है।’’