बीजेपी सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने टीवी चैनलों पर गृह मंत्री अमित शाह का भाषण न दिखाए जाने को लेकर तंज कसते हुए सवाल किया है। स्वामी ने ट्वीट किया, ‘मैंने बंगाल में अमित शाह के ऐतिहासिक भाषण की घोषणा के बाद टीवी चैनल ऑन किए। लेकिन तय समय से दो बार प्रसारण स्थगित होने के बाद चैनलों ने भाषण नहीं दिखाया। क्या वजह हो सकती है?’

बता दें कि पश्चिम बंगाल के रानीबंध में एक जनसभा को संबोधित करते हुए केंद्रीय गृह मंत्री ने कहा, ‘ममता दीदी के पैर में चोट आई है। अब ये तय नहीं हो रहा चोट कैसे आई। चुनाव आयोग कहता है हमला नहीं हुआ है हादसा हुआ है। दीदी आपके पैर में चोट आई आप बहुत दुखी हो गईं। आपकी राजनीतिक हिंसा ने मेरे 130 कार्यकर्ताओं की जान ली है आप उनकी माताओं का दर्द जानती हैं?’ शाह ने कहा कि हमें आशा थी कि कम्यूनिस्ट शासन जाने के साथ ही बंगाल से राजनीतिक हिंसा समाप्त हो जाएगी। मगर राजनीतिक हिंसा बढ़ गई। भाजपा के 130 से ज्यादा कार्यकर्ता मार दिए गए।

शाह ने कहा, ‘अम्फान में मोदी जी ने जो मदद भेजी थी उसे TMC के गुंडे खा गए। हाईकोर्ट को आदेश देना पड़ा कि अम्फान के अंदर हुए भ्रष्टाचार की जांच कैग करे। गरीबों के लिए जो चावल मोदी जी भेजते हैं वह गरीब के पेट में जाना चाहिए या तृणमूल कार्यकर्ताओं के हाथ में? वह चावल बाजार में बिकता है।’


अमित शाह ने कहा कि ममता दीदी ने आदिवासियों के अधिकार देने में भी कटमनी मांगा है। वनपत्र अधिकार देने में कटमनी देना पड़ता है। भाजपा सरकार बना दीजिए किसी आदिवासी भाई को सर्टिफिकेट लेने के लिए 100 रुपये नहीं देने पड़ेंगे।

वहीं, आज पश्चिम बंगाल के झारग्राम में जनसभा को संबोधित करते हुए गृह मंत्री अमित शाह ने कहा, ‘मोदी सरकार ने 10 साल के दीदी के शासन में 115 से ज़्यादा योजनाएं पहुंचाई, ये योजनाएं आप तक नहीं पहुंच रही हैं। इसका सबसे बड़ा रोड़ा तृणमूल की सरकार है।’

शाह ने कहा कि बंगाल में 10 साल से TMC की सरकार ने बंगाल को पाताल तक नीचे ले जाने का काम किया है। हर चीज में भ्रष्टाचार, टोलबाजी, राजनीतिक हिंसा, घुसपैठ ने पूरे बंगाल के विकास को तहत-नहस कर दिया है।

शाह बोले, ‘बंगाल में भाजपा की सरकार बनने के बाद हम झारग्राम में पंडित रघुनाथ मुर्मू आदिवासी विश्वविद्यालय बनाएंगे। आदिवासी जातियों के विकास के लिए हम 100 करोड़ रुपये का एक कॉपर्स बनाएंगे।’