राज्यसभा सांसद अमर सिंह ने आजमगढ़ स्थित अपनी सारी पैतृक संपत्ति राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) से जुड़ी संस्था सेवा भारती को इस्तेमाल करने को दी है। स्थानीय अखबारों ने सिंह के करीबियों के हवाले से इस बात की पुष्टि की है। हालांकि खुद अमर सिंह या उनके परिवार के सदस्य की ओर से इस बारे में कोई स्पष्ट बयान नहीं आया है। रिपोर्ट्स के अनुसार, अमर सिंह ने चार करोड़ रुपये मूल्य का बंगला, दस बीखा खेत सेवा भारती को इस्तेमाल के लिए दिए हैं जिसकी कुल कीमत करीब 15 करोड़ रुपये बैठती है। नवभारत टाइम्स ने अमर सिंह के भाई अरविंद सिंह के हवाले से लिखा है कि ‘वह कोई जानकारी नहीं दे सकते। इस बारे में अमर सिंह ही बेहतर बताएंगे।’
हिंदुस्तान टाइम्स ने सूत्रों के हवाले से लिखा है कि अमर सिंह चाहते थे कि उनकी पैतृक भूमि का ‘अच्छा इस्तेमाल’ हो। अखबार ने लिखा, “वह अपने पिता की याद में कुछ करना चाहते थे और चूंकि घर खाली पड़ा हुआ है, उन्होंने तय किया कि सेवा भारती उसे जरूरतमंदों के लिए इस्तेमाल करे।” अखबार के अनुसार, सेवा भारती की एक टीम इस महीने की शुरुआत में अमर सिंह के पैतृक आवास गई थी।
अमर सिंह की पैदाइश आजमगढ़ के तरवा गांव की है। प्रदेश में समाजवादी पार्टी की सरकार के दौरान अमर सिंह ने यहां पर खूब विकास कार्य करवाए। जब वे सपा से अलग हुए तो अलग पूर्वांचल राज्य की मांग को लेकर राष्ट्रीय लोक मंच नाम से एक पार्टी भी बनाई। इसके प्रचार के लिए अमर सिंह ने पद यात्रा भी निकाली मगर चुनाव में उनकी पार्टी को आजमगढ़ में कोई सफलता नहीं मिली। अब अमर सिंह का आजमगढ़ आना बेहद कम हो गया है। करीब साल भर पहले उन्हें आखिरी बार यहां देखा गया था, तब वह एक कार्यक्रम में हिस्सा लेने आए थे।
संघ को लेकर अमर सिंह का रवैया हाल के दिनों में बेहद परिवर्तित हो गया है। संघ प्रमुख मोहन भागवत के तीन दिवसीय व्याख्यान-श्रृंखला में अमर सिंह की मौजूदगी ने चर्चाओं को हवा दी थी कि वह भाजपा में शामिल हो सकते हैं। पिछले साल गुजरात विधानसभा चुनाव से पहले, अमर सिंह ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तारीफों के पुल बांधते हुए कहा था कि मोदी न तो कोई चुनाव हारे हैं, और न ही अब कोई चुनाव हारेंगे। उन्हें हराने का दम देश के किसी नेता में नहीं है।