अपनी पार्टी में मचे घमासान के बीच दिल्ली के मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी (आप) के संयोजक अरविंद केजरीवाल ने शुक्रवार को अपनी पार्टी को संदेश दिया कि उसे दिल्ली में सुशासन प्रदान करना है और व्यवस्था में बदलाव लाना है। पार्टी नेताओं के एक-दूसरे के खिलाफ बयानबाजी से मचे उथलपुथल पर चुप्पी तोड़ते हुए केजरीवाल ने कहा-अब हमें यहां से आगे बढ़ना है। अगर हम दिल्ली को आदर्श राज्य के रूप में पेश कर पाए तो मैं महसूस करता हूं कि उससे देश में और इस दुनिया में नए तरह की राजनीति जन्म लेगी।
यहां एक प्राकृतिक चिकित्सा संस्थान में इलाज कर रहे आप नेता ने कहा-मैंने इस मुद्दे पर पार्टी के अंदर ही संघर्ष किया। अब हर व्यक्ति कहता है कि हम दिल्ली जीत गए हैं, तो हम अन्य (राज्य में भी) जीतेंगे। क्या हम नेपोलियन हैं जो विजय अभियान पर हैं। केजरीवाल की टिप्पणी जिंदल नेचर केयर इंस्टीट्यूट में एक अनौपचारिक सांस्कृतिक कार्यक्रम के दौरान आई। कार्यक्रम में केजरीवाल ने अंतराक्षरी के दौरान गीत भी गाया। छियालीस साल के आप नेता खांसी की पुरानी बीमारी और अनियंत्रित शर्करा स्तर के इलाज के लिए पांच मार्च को दस दिन के लिए इस संस्थान में भर्ती हुए थे।
उन्होंने कहा कि हमें व्यवस्था बदलनी है। इसलिए हमें दिल्ली में सुशासन और अच्छी व्यवस्था देनी होगी। और अगर दिल्ली बदल गई तो मुझे विश्वास है कि पूरा देश बदल जाएगा। केजरीवाल के बयान को पार्टी के लिए दिल्ली में सुशासन पर ध्यान देने के स्पष्ट संदेश के रूप में देखा जा रहा है। पार्टी का अंतर्कलह उसके संस्थापक सदस्यों-योगेंद्र यादव और प्रशांत भूषण को पार्टी की राजनीतिक मामलों की समिति से बाहर निकाले जाने के बाद गहरा गया। अंतर्कलह ने तब और गंदा रूप ले लिया जब केजरीवाल के विरोधियों के स्टिंग सामने आए जिनमें आरोप लगाया गया कि पिछले साल सरकार बनाने के लिए कांग्रेस के छह विधायकों को तोड़ने की कोशिश की गई थी। उसके बाद मुंबई में पार्टी के एक अहम चेहरा अंजलि दमानिया ने पार्टी छोड़ दी।
केजरीवाल की यादव और भूषण ने सार्वजनिक रूप से आलोचना की। दोनों ने उनके कामकाज के तौर-तरीके और खुद ही एकतरफ फैसला करने को लेकर सवाल उठाया। इसी बीच, आप संयोजक केजरीवाल का इलाज कर रहे एक डाक्टर ने बताया कि आप नेता का शर्करा स्तर और कफ नियंत्रण में है।