बेली फैट यानी पेट की चर्बी का शिकार आज लोग युवावस्था में ही हो जाते हैं। आरामदायक लाइफस्टाइल और खराब खानपान बेली फैट बढ़ने का सबसे बड़ा कारण है। इसके अलावा अनुवांशिकता, तनाव, वर्कप्रेशर, पीसीओडी और हार्मोन्स में बदलाव भी बेली फैट बढ़ने का कारण हो सकते हैं। पेट की चर्बी ना सिर्फ आपकी पर्सनैलिटी को खराब करती है बल्कि इसके कारण गंभीर बीमारियों जैसे डायबिटीज, ब्लड प्रेशर और गठिया-बाय का खतरा भी बढ़ जाता है।

इसके अलावा जो लोग पेट की अधिक चर्बी की समस्या से ग्रस्त हैं, उनका पाचन तंत्र कभी ठीक नहीं रहता। साथ ही इनके खून में कोलेस्ट्रॉल की मात्रा ज्यादा हो जाने पर, हार्ट अटैक होने की संभावना बढ़ जाती है। ऐसे में बेली फैट को कम करना बेहद ही जरूरी है। हालांकि कुछ ऐसी चीजें हैं, जिनको नाश्ते में शामिल करने से बचना चाहिए। क्योंकि ब्रेकफास्ट में इन चीजों का सेवन, मोटापा बढ़ सकता है।

प्रोसेस्ड फूड: हेल्थ एक्सपर्ट्स की मानें तो नाश्ते में तेल, मसाले और घी आदि से बचने की सलाह देते हैं। साथ ही बेली फैट की समस्या से पीड़ित लोगों को चिप्स, पॉपकॉर्न और ड्राई फ्रूट्स आदि का सेवन भी नहीं करना चाहिए।

नूडल्स: ज्यादातर लोग ऑफिस या फिर स्कूल जाने की जल्दी में सुबह नाश्ते में नूडल्स खा लेते हैं। हालांकि इसको हेल्दी ब्रेकफास्ट नहीं माना जाता।

फ्रूट जूस: जो लोग पहले से ही मोटापे का शिकार हैं, उन्हें नाश्ते में फ्रूट जूस का सेवन नहीं करना चाहिए। क्योंकि इनमें शुगर की अधिक मात्रा होती है, जिससे आपका मोटापा कम होने की जगह बढ़ सकता है।

पकौड़े और कचौड़ी: हेल्थ एक्सपर्ट्स सुबह के समय नाश्ते में डीप फ्राइड चीजें जैसे पकौड़े और कचौड़ी आदि ना खाने की सलाह देते हैं। क्योंकि यह आपके बेली फैट को ट्रिगर कर सकते हैं, साथ ही पकौड़े और कचौड़ी स्वास्थ्य समस्याओं का भी कारण बन सकते हैं।

केक: केक में अधिकतर मैदा का इस्तेमाल किया जाता है। जो आपकी सेहत के लिए बिल्कुल भी सही नहीं है। ऐसे में अगर आप अपना बेली फैट कम करना चाहते हैं तो नाश्ते में केक और कुकीज आदि के सेवन से बचना चाहिए।