साल 2007 के यूपी विधानसभा चुनाव में बीएसपी को बहुमत मिला था और मायावती सूबे की मुख्यमंत्री बनी थीं। मायावती ने अपने कार्यकाल में मूर्तियां और पार्क बनाने पर सबसे ज्यादा जोर दिया था। हालांकि इन पार्कों के निर्माण को लेकर तत्कालीन मायावती सरकार पर भ्रष्टाचार के भी कई आरोप लगे थे। मुलायम सिंह यादव ने भी इसको लेकर मायावती सरकार पर निशाना साधते हुए कहा था कि अगर उनकी सरकार बनती है तो वो इन पार्कों पर बुलडोजर चलवा देंगे।

मुलायम सिंह यादव से इसको लेकर सवाल पूछा गया था, ‘मायावती ने 5 सालों में लखनऊ से लेकर नोएडा तक करोड़ों रुपए सरकारी खजाने से खर्च कर पार्क, मूर्तियां बनवाईं। एक समय था जब आपने कहा था कि अगर आपकी सरकार आई तो इन पार्कों पर बुलडोजर चलाया जाएगा। क्या आप आज भी अपने बयान पर कायम हैं कि अगर सपा सत्ता में आती है तो ऐसा ही किया जाएगा?’

मायावती पर मुलायम ने कसा तंज: मुलायम सिंह यादव ने इस पर जवाब दिया था, ‘ये सही है कि समाजवादी पार्टी की सरकार अगर आएगी तो इन पार्कों के पत्थर से हमें कोई आपत्ति नहीं। इन्होंने डॉक्टर भीमराव आंबेडकर की मूर्ति लगाई बहुत अच्छा किया, हमें कोई आपत्ति नहीं। लेकिन इसे कैसे मान लें कि जिंदा रहते हुए ही अपनी मूर्ति लगवा दें। मायावती ने तो ऐसा कर दिया था जो हम बिल्कुल बर्दाश्त नहीं कर सकते। अपनी मूर्ति का खुद ही अनावरण भी कर दिया, क्या मजाक कर दिया।’

मुलायम ने कहा था, ‘हमारा उद्देश्य इन पार्कों का जनता के हित में उपयोग करना है। ये बात मैं अभी भी कह रहा हूं। अगर जनता को इससे फायदा होगा तो क्या बुराई है। सरकार आने के बाद जो होगा वो तो देखा जाएगा। लेकिन फिलहाल जनता के लिए इसका इस्तेमाल किया जाएगा। पता नहीं किसकी मूर्तियां लगवा दीं? दरअसल ये लोग सिर्फ जमीन पर कब्जा करना चाहते थे। प्रदेश की जनता को खाना और रोटी नहीं मिल रही तो हम क्या सिर्फ ये पत्थर देखते रहें।’

गौरतलब है कि साल 2012 में हुए विधानसभा चुनावों में समाजवादी पार्टी की सत्ता वापसी हुई थी। सपा को यूपी में बहुमत मिला था और मायावती को सीएम पद छोड़ना पड़ा था। मुलायम सिंह यादव ने अपनी जगह अखिलेश यादव को मुख्यमंत्री बनाया था।