प्रशांत किशोर (Prashant Kishor) ने कई राजनीतिक दलों के लिए चुनाव की रणनीति तैयार की है। सबसे पहले साल 2014 में बीजेपी के लोकसभा चुनाव जीतने के लिए प्रशांत चर्चा में आए थे। इसके बाद उन्होंने जेडीयू के लिए बिहार चुनाव में रणनीति तैयार की थी और अचानक बीजेपी से अलग होने का फैसला कर लिया था। साल 2017 में प्रशांत किशोर ने कांग्रेस के लिए चुनाव प्रचार की रूपरेखा तैयार की थी, लेकिन ये असफल रही और कांग्रेस की करारी हार हुई थी।

राहुल गांधी नहीं थे देश में: साल 2019 में CAA-NRC के खिलाफ प्रदर्शन हुआ था। प्रदर्शन शुरू होने के साथ ही राहुल गांधी कोरिया चले गए थे। इसको लेकर प्रशांत किशोर से उस दौरान सवाल पूछा गया था। इसके जवाब में उन्होंने कहा था, ‘ये जरूरी नहीं है कि विपक्ष की आवाज इस मुद्दे पर कौन बुलंद कर रहा है। राहुल अभी भले ही देश में नहीं हैं, लेकिन असम में तो प्रोसेस 6 महीने पहले शुरू हो गया था। उन्होंने तो तब भी इसके खिलाफ आवाज नहीं उठाई।’

प्रशांत कहते हैं, ‘कांग्रेस असम में मुख्य विपक्षी दल है। एनआरसी प्रोसेस वहां पर 6 महीने पहले पूरा हो गया था। जनता के बीच ऐसी खबर है कि ये लोग एनआरसी नहीं होने देंगे। दिल दहला देने वाली कहानियां असम से निकलकर सामने आईं। कांग्रेस ने इसको लेकर कुछ भी नहीं किया। अब इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कि भारत में राहुल जनता की आवाज बनेंगे या नहीं। मेरे ये मायने नहीं रखता कि राहुल गांधी देश में हैं या विदेश में हैं या कोरिया में हैं।’

राहुल गांधी ने नहीं किया कोई ट्वीट: वरिष्ठ पत्रकार बरखा दत्त प्रशांत किशोर से सवाल करती हैं, ‘तो क्या आपके हिसाब से ऐसा उन्होंने ठीक किया?’ प्रशांत किशोर इसके जवाब में कहते हैं, ‘मैंने तो पिछले 6 महीने में कांग्रेस की तरफ से एक ट्वीट तक नहीं देखा। कोई भी कांग्रेसी नेता भी इस मुश्किल समय में जनता के साथ खड़ा हुआ नजर नहीं आया। अब मैं ये तो नहीं कह सकता कि इस मुद्दे पर राहुल की बात करना अप्रासंगिक है, लेकिन जो भी हुआ वो मैंने सब बता दिया। राहुल गांधी और कांग्रेस विपक्ष की भूमिका में फेल हो गए हैं।’

बता दें, साल 2017 के यूपी चुनाव के बाद प्रशांत किशोर ने कांग्रेस से अलग होने का फैसला किया था। एक इंटरव्यू में उन्होंने बताया था कि वह समाजवादी पार्टी से गठबंधन के पक्ष में नहीं थे, लेकिन कांग्रेस आलाकमान ने उनकी सलाह को नजरअंदाज किया। नतीजा ये रहा कि कांग्रेस की सूबे में करारी हार हुई।