जिस दिन भारत के स्टार क्रिकेट खिलाड़ी महेंद्र सिंह धोनी एक दिवसीय अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में 10,000 रनों का कीर्तिमान स्थापित करने जा रहे थे। ठीक उसी दिन क्रिकेट का मक्का कहे जाने वाले लंदन के लॉर्ड्स स्टेडियम में भारतीय समर्थक उनकी खिल्ली उड़ा रहे थे। धोनी को हूट करने का कारण उनके द्वारा धीमी गति से बनाए गए रन थे। धोनी ने धीमा खेल ऐसे वक्त में खेला, जब इंग्लैंड के खिलाफ तीन मैचों की श्रंखला खेलने आई भारतीय क्रिकेट टीम हारने के कगार पर थी। ये तीन मैचों की श्रंखला का दूसरा मैच था, जिसमें भारत को 86 रनों से हार का सामना करना पड़ा ।

धोनी की कड़ी आलोचना कर रहे लोग इस बात से खासे नाराज हैं कि वह 59 गेंदों में सिर्फ 37 रन बना पाए। जबकि भारतीय टीम 50 ओवर में सिर्फ 236 रन ही बना सकी। जबकि इंग्लैंड की टीम ने भारतीय टीम को सात विकेट के नुकसान पर 322 रनों का लक्ष्य दिया था। जबकि इंग्लैंड के जो रूट इसे आश्चर्यजनक मानते हैं कि भारत के युजवेंद्र चहल ने कहा कि वह दर्शकों के नाराजगी जताने की घटना से अनभिज्ञ हैं।

46वें ओवर की शुरूआत तक मैच बिल्कुल सही गति से चल रहा था। उस वक्त तक पांच ओवर मेें भारतीय टीम को जीत के लिए 110 रनों की जरूरत थी। हालांकि मैदान में मौजूद भारतीय प्रशंसकों में बेचैनी उस वक्त बढ़ने लगी जब डेविड विली के ओवर की पहली चार गेंदों में भी धोनी प्रदर्शन नहीं कर सके। इस बार दर्शकों ने हर डॉट गेंद पर भारतीय टीम को हूट करना शुरू कर दिया।

पूरी दुनिया में धोनी के प्रशंसकों की भारी तादाद को देखते हुए उनका हूट होना बेहद आश्चर्य भरी घटना थी। यहां तक कि ओवर के अंत में जब वै​कल्पिक फील्डर्स शार्दूल ठाकुर और अक्षर पटेल एनर्जी ड्रिंक और दूसरा बैट लेकर आए, उस वक्त भी दर्शक लगातार उन्हें हूट कर रहे थे। इसके बाद खेले गए अगले ओवर की पहली ही गेंद पर धोनी डीप मिड विकेट बाउंड्री के ऊपर से शॉट लगाने के चक्कर में कैच थमा बैठे।

चहल ने मैच के बाद आयोजित प्रेस कांफ्रेंस में कहा,”धोनी को ड्रेसिंग रूम की तरफ से तेज रन बनाने के लिए कोई निर्देश नहीं दिया गया था। मुझे नहीं पता कि उन्हें बैट बदलते हुए क्या कहा गया? हार्दिक के आउट के बाद मैं, सिद्धार्थ कौल, उमेश यादव और कुलदीप बाकी थे। तो ऐसा नहीं था कि 2—3 विशेषज्ञ बल्लेबाज मैदान पर उतरने बाकी थे। उन्होंने बहुत ज्यादा बैटिंग नहीं की। इसलिए ये कहने का एक मौका था। अगर वह पहले एक गलत शॉट खेलकर आउट हो जाते तो हम संभवत: 50 ओवर तक बल्लेबाजी भी न कर पाते।”