प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बुधवार को अबू धाबी में बीएपीएस स्वामीनारायण मंदिर का उद्घाटन करेंगे। वे UAE में दो दिनों के दौरे पर हैं। दुबई में पीएम मोदी ने मेडागास्कर के राष्ट्रपति एंड्री राजोएलिना के साथ द्विपक्षीय बैठक की। वहीं दुबई में विश्व सरकार शिखर सम्मेलन में पीएम ने कहा ” सामाजिक और वित्तीय समावेशन हमारी सरकार की प्राथमिकता रही है। इसी कारण आज भारत में 50 करोड़ से अधिक लोग जिनके पास बैंक खाता नहीं था, वे बैंकिंग से जुड़े हैं। इसने भारत को फिनटेक और डिजिटल भुगतान के क्षेत्र में आगे बढ़ाया है। हम महिलाओं के नेतृत्व वाले विकास को भी प्रोत्साहित किया गया…”।

बता दें कि अबू धाबी का यह विशाल मंदिर 27 एकड़ जमीन पर बना है। यह अबू धाबी में पहला हिंदू मंदिर होगा। यह मंदिर भारतीय संस्कृति और संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) की पहचान का का अनूठा मिश्रण है। सुबह से मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम शुरू हो गया है।

पीएम मोदी ने हिंदू मंदिर के निर्माण के लिए जमीन देने के लिए संयुक्त अरब अमीरात के राष्ट्रपति शेख मोहम्मद बिन जायद अल नाहयान का मंगलवार को शुक्रिया अदा किया। पीएम मोदी ने कहा कि यह भारत के प्रति उनकी आत्मीयता को दर्शाता है।

श्री अक्षर पुरुषोत्तम स्वामीनारायण मंदिर अबू धाबी में पत्थरों से बना पहला हिंदू मंदिर होगा। पीएम मोदी मंगलवार को यहां पहुंचे तो राष्ट्रपति शेख मोहम्मद ने एयरपोर्ट पर उनका स्वागत किया। पीएम मोदी ने अपने उद्घाटन वक्तव्य में कहा कि अबू धाबी में बीएपीएस मंदिर भारत के प्रति राष्ट्रपति की आत्मीयता और यूएई के उज्ज्वल भविष्य के लिए उनके दृष्टिकोण का उदाहरण है।

दुबई-अबू धाबी शेख जायद नेशनल हाइवे पर अल रहबा के पास अबू मुरीखाह में स्थित बीएपीएस हिंदू मंदिर का निर्माण करीब 27 एकड़ क्षेत्र में हुआ है। इसके लिए निर्माण कार्य 2019 से जारी है। मंदिर के लिए जमीन यूएई सरकार ने दान दी थी।

पीएम मोदी ने आगे कहा, ‘‘बीएपीएस मंदिर का निर्माण आपके सहयोग के बिना संभव नहीं होता।’’ इस दौरान पीएम मोदी ने बताया कि राष्ट्रपति शेख मोहम्मद के साथ उनकी पहली मुलाकात में उन्होंने केवल मंदिर के लिए जमीन की बात की थी और उन्होंने किस तरह तत्काल प्रतिक्रिया दी।

पीएम मोदी ने आगे कहा, ‘‘इस तरह का विश्वास और प्रेम अपने आप में हमारे विशिष्ट संबंध की मजबूती को प्रदर्शित करता है।’’ अयोध्या में गत 22 जनवरी को राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा समारोह के तीन सप्ताह बाद बीएपीएस मंदिर का उद्घाटन किया जाएगा। यूएई में तीन अन्य हिंदू मंदिर हैं जो दुबई में हैं। बीएपीएस मंदिर खाड़ी क्षेत्र का सबसे बड़ा मंदिर होगा। चलिए बताते हैं कि इस मंदिर की खासियत क्या है?

आध्यात्मिक हिंदू आस्था का प्रतिनिधित्व करता है बीएपीएस

  1. बीएपीएस, बोचासनवासी श्री अक्षर पुरूषोत्तम स्वामीनारायण संस्था का शॉर्ट फॉर्म है। यह वेदों में निहित सामाजिक-आध्यात्मिक हिंदू आस्था का प्रतिनिधित्व करता है। इसकी शुरुआत 18वीं शताब्दी के अंत में भगवान स्वामीनारायण ने की थी। इतना ही नहीं बीएपीएस व्यावहारिक आध्यात्मिकता के सिद्धांतों पर आधारित है। यह दुनियाभर में 3,850 से अधिक संगठन हैं। यह अपने वैश्विक नेटवर्क के जरिए समाज की सेवा करता है।
  2. दरअसल, 2015 में पीएम मोदी की खाड़ी देश की दो दिवसीय यात्रा के दौरान यूएई ने अबू धाबी में एक मंदिर के निर्माण के लिए जमीन आवंटित की थी। वहीं इस मंदिर को हजारों भारतीय कारीगरों ने मिलकर बनाया है।