भारत के दिल्ली और पाकिस्तान के लाहौर के बाद बांग्लादेश की राजधानी ढाका एक बार फिर दुनिया में सबसे खराब एयर क्वालिटी वाला शहर बनकर उभरा है। गुरुवार, 5 दिसंबर को AQI 392 दर्ज किया गया जो ‘खतरनाक’ स्तर पर आता है। मंगोलिया का उलानबटार, भारत का कोलकाता और पाकिस्तान का लाहौर क्रमशः 229,215 और 206 AQI के साथ आज दूसरे, तीसरे और चौथे सबसे प्रदूषित शहर रहे।
ढाका लंबे समय से वायु प्रदूषण की समस्या से जूझ रहा है। ढाका ट्रिब्यून की रिपोर्ट के अनुसार, ढाका में एयर क्वालिटी आमतौर पर सर्दियों के दौरान खराब हो जाती है, जब ठंडे तापमान और मौसमी गतिविधियों के कारण प्रदूषण का स्तर बढ़ जाता है। मानसून के मौसम में इसमें सुधार होता है।
बांग्लादेश में AQI पांच प्रदूषकों के आधार पर निर्धारित किया जाता है-पार्टिकुलेट मैटर (PM10 और PM2.5), नाइट्रोजन डाइऑक्साइड (NO2), कार्बन मोनोऑक्साइड (CO), सल्फर डाइऑक्साइड (SO2) और ओजोन। वायु प्रदूषण ढाका के लिए एक लंबे समय से चल रहा मुद्दा रहा है, इसकी घनी आबादी, तेजी से शहरीकरण और अनियमित औद्योगिक उत्सर्जन स्थिति को और खराब करने में योगदान दे रहे हैं।
इससे पहले नवंबर के मध्य में बांग्लादेश की राजधानी दुनिया भर में सबसे खराब वायु गुणवत्ता वाले शहरों में चौथे स्थान पर रही थी जब एक्यूआई 234 दर्ज किया गया था।
बढ़ते प्रदूषण से घट रहा उत्पादन, मिट्टी की गुणवत्ता से पैदावार पर हो रहा सीधा असर
दिल्ली की एयर क्वालिटी में सुधार
वहीं, दूसरी ओर दिल्ली की एयर क्वालिटी में गुरुवार को सुधार हुआ और एक्यूआई 161 यानी ‘मध्यम’ श्रेणी में पहुंच गया। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB) के अनुसार, एयर क्वालिटी डाटा दर्ज करने वाले 38 निगरानी केंद्रों में से केवल 6 केंद्रों ने एक्यूआई का स्तर ‘खराब’ श्रेणी में होने की सूचना दी।
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के अनुसार, वायु प्रदूषण के कारण दुनिया भर में हर साल लगभग सात मिलियन लोगों की मृत्यु होती है। वायु प्रदूषण के कारण स्ट्रोक, हृदय रोग, क्रॉनिक ऑब्सट्रक्टिव पल्मोनरी डिजीज, फेफड़ों के कैंसर और तीव्र श्वसन संक्रमण से होने वाली मृत्यु दर में वृद्धि है। जानें कैसा रहेगा आज का मौसम