खराब डाइट, बिगड़ता लाइफस्टाइल और बढ़ता तनाव पाचन तंत्र को बिगाड़ देता है। खाने में फास्ट फूड, प्रोसेस फूड,ऑयली फूड, मसालों और अल्कोहल का ज्यादा सेवन हमारे पाचन को बिगाड़ देता है। कुछ लोगों का पाचन इतना ज्यादा खराब रहता है कि वो जो कुछ भी खाते हैं उन्हें उससे गैस, एसिडिटी और अपच जैसी परेशानी होने लगती है। कुछ लोगों को किसी खास फूड को खाने से पेट में तेजी से गैस बनती है और उनका पाचन तंत्र बिगड़ने लगता है। मूली एक ऐसी सब्जी है जो सर्दी में पाई जाती है।
मूली सेहत के लिए बेहद फायदेमंद है। हरे पत्तों के साथ मिलने वाली सफेद मूली एक जड़ वाली सब्जी है जिसका सेवन अगर रोजाना किया जाए तो इम्यूनिटी स्ट्रांग होती है। सर्दी में मूली का सेवन करने से डायबिटीज कंट्रोल रहती है और पाचन भी ठीक रहता है।
आयुर्वेदिक एक्सपर्ट आचार्य बालकृष्ण ने बताया मूली पाचन को दुरुस्त करती है लेकिन कुछ लोगों को इसे खाने के बाद गैस और एसिडिटी की परेशानी होने लगती है। अब सवाल ये उठता है कि पाचन को दुरुस्त करने वाली मूली पाचन को कैसे बिगाड़ देती है। आइए एक्सपर्ट से जानते हैं कि कुछ लोगों को मूली खाने के बाद गैस,एसिडिटी जैसी परेशानी क्यों होती है।
मूली खाने से गैस क्यों बनती है?
मूली एक अल्कलाइन फूड है जिसे खाने से एसिडिटी होती है। इस अल्कलाइन फूड को खाने से बॉडी का PH डिसबैलेंस होने लगता है जिससे एसिड का प्रोडक्शन बढ़ जाता है और एसिड रिफ्लक्स की परेशानी बढ़ने लगती है। ऐसी स्थिति में आप कुछ भी खाएंगे तो आपको लगेगा ये आपके गले में पेट से वापस आ रहा है। मूली खाने के बाद खट्टी डकारें आती हैं और एसिडिटी भी शुरू हो जाती है। इसमें कोई दो राय नहीं कि मूली खाने से गैस बनती है और पेट दर्द का भी ये कारण हो सकती है।
मूली में मौजूद फाइबर और सल्फर यौगिक भी गैस का कारण बनते हैं। जब आप मूली खाते हैं तो ये दोनों यौगिक आपके पाचन तंत्र में मौजूद बैक्टीरिया के साथ एक्टिविटी करते हैं जिससे गैस बनना शुरू हो जाती है। जिन लोगों का पाचन तंत्र कमजोर है या फिर पर्याप्त मात्रा में एंजाइम नहीं हैं ऐसे में भी मूली को पचाना मुश्किल होता है जिससे गैस बनने लगती है।
आयुर्वेद के मुताबिक मूली खाने का सही समय क्या है?
आयुर्वेद के मुताबिक मूली का सेवन अगर आप खाने से पहले करते हैं तो ये आपके पाचन के लिए भारी पड़ती है। खाने से पहले मूली खाने से वो अपचन का कारण बनती है। अगर आप मूली का सेवन सुबह नाश्ते में करते हैं तो आप इसे खाने के बाद एक घंटे तक कुछ नही खाएं। अगर आप इसे खाने के साथ खाना चाहते हैं तो आप इसका सेवन तब करें जब आपका भोजन लगभग खत्म होने वाला हो। अगर आपको चार रोटी खाना है तो एक चपाती खाने के बाद ही मूली खाना शुरू करें। मूली को अगर सही समय पर सही तरीके से खाया जाए तो मूली गैस नहीं करेगी। रात के समय मूली खाने से बचें, क्योंकि इसकी तासीर ठंडी होती है जो पाचन को बिगाड़ सकती है।
पाचन तंत्र को दुरुस्त करने के लिए मूली का सेवन कैसे करें
अगर मूली का सेवन सही समय पर सही तरीके से किया जाए तो ये पाचन को बेहतर बना सकती है। फाइबर, एंटीऑक्सीडेंट, और विटामिन सी से भरपूर मूली पाचन को दुरुस्त करती है। अगर आप पाचन को दुरुस्त करना चाहते हैं तो मूली का सेवन सलाद के रूप में करें। पाचन को दुरुस्त करने के लिए आप मूली को काटकर उसमें अदरक और हींग मिलाकर हल्की आंच पर भून लें फिर उसका सेवन करें। इस तरह मूली खाने से गैस और पेट फूलने की समस्या से निजात मिलेगी। मूली का सूप बनाकर उसका सेवन करें आपका पाचन ठीक रहेगा। मूली को कद्दूकस करके उसमें अदरक, हरी मिर्च और धनिया मिलाकर उसका सेवन करें आपका पाचन दुरुस्त रहेगा। मूली का सीमित सेवन ही करें पाचन दुरुस्त रहेगा।
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