हाई ब्लड शुगर लेवल की स्थिति को मेडिकल भाषा में हाइपरग्लाइसेमिया कहा जाता है। फास्टिंग के दौरान भी अगर बॉडी में रक्त शर्करा का स्तर 125 mg/dl से ज्यादा हो जाए तो इस स्थिति को हाई ब्लड शुगर लेवल कहा जाता है। स्वास्थ्य विशेषज्ञों की अनुसार खून में इंसुलिन की कमी के कारण ग्लूकोज का स्तर बढ़ जाता है, जिसके कारण ना सिर्फ डायबिटीज होने का खतरा बढ़ जाता है बल्कि इसके अलावा हार्ट अटैक, किडनी फेलियर, मल्टीपल ऑर्गन फेलियर और ब्रेन स्ट्रोक की संभावनाएं भी अधिक हो जाती हैं।

इसलिए हेल्थ एक्सपर्ट्स डायबिटीज के मरीजों को अपने खानपान का विशेष रूप से ध्यान रखने की सलाह देती हैं। आपकी रसोई में कुछ चीजें मौजूद हैं, जिनके जरिए शरीर में रक्त शर्करा के स्तर को नियंत्रित किया जा सकता है।

करेला: डायबिटीज के मरीजों के लिए करेला बेहद ही फायदेमंद है। विटामिन ए, पोटेशियम और एंटीऑक्सीडेंट गुणों से भरपूर करेले के जूस का नियमित तौर पर सेवन करने से शरीर में इंसुलिन की मात्रा बढ़ती है, जिससे ब्लड शुगर लेवल नियंत्रित रहता है। सुबह खाली पेट करेले के जूस का सेवन करने से खून में ग्लूकोज का स्तर काबू में रहता है।

आंवला: आंवले में मौजूद क्रोमियम बॉडी में कार्बोहाइड्रेट मेटाबॉलिज्म को नियंत्रित करता है। नियमित तौर पर आंवले का सेवन करने से इंसुलिन की मात्रा बढ़ती है। ऐसे में डायबिटीज के मरीजों के लिए आंवले के जूस का सेवन करना बेहद ही फायदेमंद साबित होता है। मधुमेह के रोगी एक चम्मच आंवले के पाउडर को एक गिलास पानी में मिलाकर पी सकते हैं।

भिंडी: भिंडी में मौजूद गुण ब्लड शुगर लेवल को कम करने में मदद करता है। दरअसल भिंडी में सॉल्युबल फाइबर मौजूद होते हैं। ऐसे में मधुमेह के रोगियों को हेल्थ एक्सपर्ट भिंडी का सेवन करने की सलाह देते हैं।

खीरा: खीरा खून में मौजूद ग्लोकूज को सोखने के काम करता है, जिससे ब्लड शुगर लेवल नियंत्रित रहता है। ऐसे में डायबिटीज के मरीज अपनी डाइट में खीरे को शामिल कर सकते हैं।

मेथी: इसके लिए एक गिलास पानी में एक चम्मच मेथी दाना डालकर सेवन करें। मेथी में मौजूद अमीनो एसिड खून में ग्लूकोज के स्तर को कम करने में मदद करता है, इससे बॉडी में इंसुलिन का स्तर बढ़ाने में मदद मिलती है।