Stomach Cancer: भागदौड़ भरे लाइफस्टाइल में हम अपने खानपान का सही तरह से ध्यान नहीं रख पाते। कई बार लंबे समय तक खाली पेट रह जाता हैं या फिर बाहरी फूड्स, ऑयली और अधिक मसालेदार खाने का सेवन अधिक करते हैं, जिसके चलते पेट में गैस की समस्या अक्सर हो जाती है। हालांकि, पेट में गैस की समस्या को हम अधिकतर नजरअंदाज कर देते हैं, लेकिन पेट की गैस को अनदेखा करना कभी-कभी बहुत खतरनाक भी साबित हो सकता है। इसके कारण पेट में गंभीर बीमारी का खतरा भी हो सकता है। मेट्रो हॉस्पिटल फरीदाबाद में गैस्ट्रोएंटरोलॉजी डायरेक्टर, डॉ. विशाल खुराना ने पेट में गैस बनने के कारण होने वाली समस्या के बारे में बताया है।
डॉ. विशाल खुराना के मुताबिक, पेट में गैस बनने से कई गंभीर समस्या हो सकती है। पेट में गैस बनने से खट्टी डकारें और सीने में जलन आदि पेट में कैंसर सेल्स के निर्माण का कारण बन सकती हैं। जिसके चलते पेट का कैंसर भी हो सकता है। पेट में कैंसर ऊपर या नीचे किसी भी हिस्से में हो सकता है। कैंसर का इलाज समय रहते नहीं किया जाए तो यह धीरे-धीरे गंभीर हो जाता है और इससे जान भी जा सकती है। ऐसे में समय रहते लक्षणों की पहचान करना बहुत ही आवश्यक है, ताकि समय रहते इसका इलाज कराया जा सके।
पेट में कैंसर होने के लक्षण
- पेट में दर्द या बेचैनी
- थोड़ा खाना खाने के बाद पेट फूलना
- मतली या उल्टी
- निगलने में दिक्कत
- वजन घटना या कमजोरी
- पेट के ऊपरी हिस्से या छाती की हड्डी के पीछे दर्द
डॉ. विशाल खुराना के अनुसार, सीने में जलन हार्टबर्न की एक आम स्थिति है, जो बैक्टीरियल इंफेक्शन या पेट के अल्सर का भी लक्षण हो सकता है। गैस्ट्रिक कैंसर की पहचान कर पाना थोड़ा मुश्किल हो जाता है, क्योंकि पेट में गैस को हम हमेशा आम मानते हैं। पेट में गैस की समस्या सही बढ़ रही है तो डॉक्टर को दिखाना चाहिए।
पेट में कैंसर का कारण
एसिडिटी की समस्या लंबे समय से हो रही है तो पाइलोरी संक्रमण हो सकता है, जो डीएनए को नुकसान पहुंचाता है। डीएनए कोशिकाओं को बताता है कि कब बढ़ना है और कब मरना है। इस बदलाव के कारण कोशिकाएं तेजी से बढ़ती हैं और ये संक्रमण धीरे-धीरे पेट में कैंसर का करण होने जोखिम बढ़ा देता है।
पेट में कैंसर होने से पहले बचाव के तरीके
पेट के कैंसर से बचने के लिए अपने खानपान का खास ध्यान रखना है। ज्यादा ऑयली और मसालेदार खाने से दूर बनाए रखें। इसके अलावा वजन को मेंटेन रखें। डेली रूटीन में एक्सरसाइज और बैलेंस डाइट फॉलो करें।
आज के युवा खराब डाइट ले रहे हैं, तनाव में है, बॉडी एक्टिविटी में कमी है और ओवर वेट हैं तो हार्ट में ब्लॉकेज का खतरा बढ़ने लगता है। 50 फीसदी ब्लॉकेज के बाद हार्ट अटैक का रिस्क बढ़ने लगता है।