मसरूफियत की जिंदगी में कुछ दिनों का ब्रेक लेना अच्छी सेहत के लिए जरूरी है ये बात अभिनेत्री और फिटनेस गुरु शिल्पा शेट्टी कुंद्रा ने एक वीडियों शेयर करके बताई है। उन्होंने बताया अगर बिना रूके आगे बढ़ना है तो बॉडी को थोड़ा ब्रेक दीजिए। ब्रेक से मतलब ये नहीं है कि बॉडी को निष्क्रिय करें। बॉडी को एक्टिव रखने के लिए योगा बहुत जरूरी है। बॉडी को एक्टिव रखने के लिए विपरीत नौकासन बेहद फायदेमंद है। आइए जानते हैं कि विपरीत नौकासन क्या है और इसे करने से बॉडी को कौन-कौन से फायदे पहुंचते हैं।
विपरीत नौकासन क्या है? विपरीत नौकासन तीन शब्दों से मिलकर बना है जिसमें‘विपरीत’का अर्थ उल्टा, ‘नौका’का अर्थ नाव और ‘आसन’का अर्थ मुद्रा से है। इस आसन को करते समय बॉडी का शेप उलटी नाव की तरह होता है इसलिए इसे विपरीत नौकासन कहते है।
विपरीत नौकासन कैसे रीढ़ की हड्डी के लिए असरदार है: ये योग स्पाइन को लचीला बनाता है। इसे करने से पीठ, पेट एवं हाथो के मांसपेशियां मजबूत होती हैं और उनका तापमान बढ़ता है। जिन लोगों को कमर एवं डिस्क की परेशानी है उनको इस योग से आराम मिलता है।
विपरीत नौकासन के बॉडी को फायदे: यह आसन सिर दर्द की बीमारी को भी कम करता है। विपरीत नौकासन करने से पेट की चर्बी घटती है। यह आसन बॉडी में आलस को कम करता है और बॉडी को फुर्तीला बनाता है। इस आसन को करने से बॉडी को ताकत मिलती है और आलस दूर होता है। यह पीठ के निचले हिस्से, पेल्विस, कंधों, बाहों और कूल्हों को मजबूत करने में मदद करता है।
यह रीढ़ की हड्डी के लचीलेपन में भी सुधार करता है।पेट के अंगों की मालिश करता है और पाचन में सुधार करता है। एक्सपर्ट के मुताबिक अगर आपने हाल ही में पेट की सर्जरी कराई है या फिर आप प्रेग्नेंट हैं तो इस आसन को करने से बचें।
ये आसन कैसे करें:
- इस आसन को करने के लिए पेट के बल लेट जाएं।
- अपने शरीर के किनारों के साथ बाजुओं को सामने की ओर फैलाएं।
- सांस छोड़ते हुए सिर, छाती और पैरों को एक साथ फर्श से जितना हो सके ऊपर उठाएं। हाथ जमीन को नहीं छूना चाहिए। केवल पेट के सामने वाला हिस्सा फर्श पर रहे।
- बट को सिकोड़ें और जांघ की मांसपेशियों को फैलाएं।
- दोनों पैरों को पूरी तरह फैलाकर सीधा रखें।
- जितनी देर हो सके इसी मुद्रा में सांस लें और छोड़ें