डायबिटीज (Diabetes) की बीमारी आज के समय में बेहद ही गंभीर समस्या बन गई है। शरीर में इंसुलिन की कमी से डायबिटीज का खतरा बढ़ जाता है। हालांकि, अनियंत्रित खान-पान और मेटाबॉलिक डिसॉर्डर के कारण भी डायबिटीज (Diabetes) हो सकती है। आज बच्चों से लेकर बुजुर्ग भी इसकी चपेट में आ रहे हैं। सरकारी आंकड़ों की मानें तो देश में करीब 77 मिलियन लोग इस बीमारी से परेशान हैं। डायबिटीज में ब्लड शुगर लेवल को कंट्रोल रखना काफी आवश्यक होता है। ऐसे में घरेलू उपायों के जरिए ब्लड शुगर को सुंतिलत रखा जा सकता है।

ब्लड शुगर लेवल (Blood Sugar Level) को कंट्रोल रखने के लिए मोरिंगा के पत्ते काफी कारगर साबित होते हैं। क्योंकि मोरिंगा में लाभकारी एंटीऑक्सिडेंट और बायोएक्टिव तत्व होते हैं, जो बीमारियों का इलाज करने और उन्हें रोकने में मदद कर सकते हैं। डायबिटीज रोगियों के लिए मोरिंगा किसी रामबाण से कम नहीं मानी जाती है। मोरिंगा की पत्तियों का उपयोग ब्लड शुगर लेवल को कंट्रोल करने में मददगार हो सकता है. बता दें कि मोरिंगा का इस्तेमाल दवाइयों में भी किया जाता है। यह, डायबिटीज, कैंसर, हृदय रोग, श्वसन और त्वचा की समस्याओं को ठीक करने में कारागर है।

अध्ययन में पता चला है यह शरीर के वजन के साथ-साथ ब्लड शुगर लेवल को भी संतुलित करता है। मोरिंगा के पत्ते ब्लड में शुगर की मात्रा को कम करते हैं, जो डायबिटीज से राहत दिलाने में मदद कर सकता है.

बता दें कि मोरिंगा की पत्तियों का उपयोग पारंपरिक हर्बल दवाइयों में किया जाता है। इसका पौधा सौंदर्य को बढ़ाने के साथ-साथ कई बीमारियों की रोकथाम के लिए भी मददगार साबित होता है। इसके इस्तेमाल से अस्थमा, यकृत रोग, हृदय रोग, कैंसर और पाचन संबंधी समस्याएं दूर होती हैं।

भरपूर मात्रा में होते हैं पोषक तत्व: मोरिंगा के पत्तों में भरपूर मात्रा में पोषक तत्व होते हैं। यह विटामिन, खनिज और एंटीऑक्सीडेंट से भरपूर होते हैं।

हालांकि, इस बात का हमेशा ध्यान रखना चाहिए कि गर्भावस्था में मोरिंगा का सेवन ना करें। क्योंकि मोरिंगा में प्रजनन-विरोधी गुण हो सकते हैं। ऐसे में अगर आप मोरिंगा के पत्तों का इस्तेमाल बल्ड शुगर लेवल को कंट्रोल करने के लिए करना चाहते हैं तो एक बार डॉक्टर या एक्सपर्ट से सलाह जरूर लें।