मखाना या फॉक्स नट अपने बेहतरीन पोषक तत्वों की वजह से सुपरफूड की कैटेगरी में आता है। इसमें प्रोटीन, कैल्शियम, मैग्नीशियम, पोटैशियम और एंटीऑक्सीडेंट भरपूर मात्रा में पाया जाता हैं, जो इसे हल्का, पचने में आसान और हेल्दी स्नैक बनाता हैं। मखाना लो-ग्लाइसेमिक फूड है यानी ये धीरे-धीरे शुगर रिलीज करता है और ब्लड शुगर को नॉर्मल रखता है, इसलिए डायबिटीज के मरीज भी इसे आसानी से खा सकते हैं। इसमें मौजूद फाइबर पाचन को सुधारता है और लंबी देर तक पेट भरा रखकर वजन कंट्रोल करने में मदद करता है।

सर्दियों में शरीर की ऊर्जा तेजी से खर्च होती है, ऐसे में मखाना का सेवन अगर घी में भूनकर किया जाए तो बॉडी को गर्मी और ताकत मिलती है। मखाना की तासीर ठंडी होती है लेकिन अगर इसे घी के साथ भूना जाए तो ये तासीर बैलेंस हो जाती है। मखाना पोषक तत्वों का पावर हाउस है जिसमें एंटी-एजिंग और एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण भी मौजूद होते हैं जो हार्ट को हेल्दी रखते हैं। इस नट का सेवन सर्दी में करने से जोड़ों की सूजन और स्किन की रंगत में भी निखार आता है। कम कैलोरी और हाई न्यूट्रीशन वाला मखाना हर उम्र के लिए एक परफेक्ट सुपरफूड है।

आयुर्वेदिक एक्सपर्ट डॉ. रूपाली बेदरकर जैन ने बताया सर्दी में भूख ज्यादा लगती है ऐसे में अगर मखाना का सेवन किया जाए तो दिनभर में बार-बार भूख लगने या खाने की क्रेविंग कंट्रोल रहेगी। ये हेल्दी स्नैक फ्राइड फूड और प्रोसेस्ड फूड का हेल्दी विकल्प है। इसकी तासीर हल्की और पौष्टिक होती है, जिसे बच्चे, बड़े, बुजुर्ग और गर्भवती महिलाएं सभी ले सकते हैं। आइए एक्सपर्ट से जानते हैं कि घी में मखाना को भूनकर खाने से सेहत पर कैसा होता है असर।

आयुर्वेद में वर्णित मखाने के गुण

आयुर्वेद के अनुसार मखाना गुरु यानी थोड़ा भारी , रूक्ष यानी हल्का सूखा और शीत यानी ठंडी तासीर वाला होता है। यह वात, पित्त और कफ तीनों दोषों को संतुलित करता है। इसका सबसे अधिक प्रभाव ब्लड और शुक्र धातु पर देखा जाता है।

मखाना के फायदे

मखाना एक ऐसा सुपरफूड है जो दिल की सेहत को दुरुस्त करता है।  जिन लोगों को दिल की कमजोरी, घबराहट, अत्यधिक चिंता या तेज़ धड़कन (palpitations) की समस्या रहती है उनके लिए मखाना बेहद फायदेमंद है। ये हेल्दी स्नैक्स दिल को हेल्दी रखता है और मानसिक तनाव को भी कंट्रोल करता है। सर्दी में वजन बढ़ने का खतरा ज्यादा रहता है ऐसे में मखाना एक पौष्टिक विकल्प है। जिन लोगों का वजन नहीं बढ़ता वो इसे घी में भूनकर गर्म दूध के साथ खाएं पतला-दुबला शरीर सुडौल बन जाएगा। मखाना खीर और मल्टी-ड्राई फ्रूट लड्डू भी वजन बढ़ाने का अच्छा उपाय हैं।

वजन घटाने वालों के लिए मखाना कम कैलोरी वाला उत्कृष्ट स्नैक है। इसे बिना घी के भूनकर सेंधा नमक, काली मिर्च या जीरा पाउडर मिलाकर लिया जा सकता है। मखाना चिवड़ा बनाकर रखने से जंक फूड की आदत आसानी से कम होती है। एक समय में 15–20 मखाने उचित मात्रा मानी जाती है। अगर शरीर में पित्त बढ़ गया है जैसे बाल सफेद होना, बाल गिरना, शरीर में जलन, आंखों की लालिमा, मुंह में बार-बार छाले होना तो मखाना का सेवन करें। मखाना की ठंडी तासीर शरीर के पित्त को प्राकृतिक रूप से शांत करती है।

नाक से खून आना, यूरिन में खून, महिलाओं में अत्यधिक ब्लीडिंग,बार-बार गर्भपात की प्रवृत्ति जैसी समस्याओं में मखाना लाभकारी है। यह रक्त को स्थिर करता है और ब्लीडिंग की प्रवृत्ति को कम करता है। महिलाओं के सफेद पानी (Leucorrhoea) में भी यह उपयोगी है। मखाना शुक्र जनन और शुक्र स्थापन करने वाला माना जाता है, इसलिए यह शीघ्रपतन, कमजोरी, बार-बार यूरिन आने और थकान वाली समस्याओं में खासतौर पर फायदा पहुंचाता है। हल्का भूनकर नियमित सेवन से प्रजनन क्षमता मजबूत होती है। मखाना का सेवन करने से इम्यूनिटी मजबूत होती है और पाचन से जुड़ी परेशानियां जैसे दस्त और लूज मोशन कंट्रोल रहता है। हेल्दी होने के बावजूद मखाने का ज्यादा सेवन कब्ज, गैस और अपच बढ़ा सकता है क्योंकि इसमें रूखापन होता है। घी के साथ हल्का भूनने से यह आसानी से पच जाता है और सर्दी में फायदेमंद होता है।

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